जल्द शुरू हो सकती है कैलाश मानसरोवर यात्रा! भारत और चीन के बीच हुई बात, LAC पर भी हुई चर्चा
Kailash Mansarovar | PTI

नई दिल्ली: भारत और चीन ने मंगलवार को बीजिंग में सीमा मामलों पर परामर्श और समन्वय (WMCC) की बैठक के दौरान सीमा पार सहयोग को फिर से शुरू करने, ट्रांस-बॉर्डर नदियों और कैलाश-मानसरोवर यात्रा पर चर्चा की. इस बैठक का उद्देश्य द्विपक्षीय संबंधों को सामान्य करने के प्रयासों को आगे बढ़ाना था. इस बैठक में जल्द से जल्द फिर से कैलाश मानसरोवर यात्रा शुरू करने पर चर्चा हुई. साल 2020 में सीमा पर बढ़े तनाव के कारण इसपर रोक लगा दी गई थी.

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हाल ही में विदेश मंत्रालय ने कहा था कि कैलाश मानसरोवर यात्रा इस साल फिर से शुरू करने पर सहमति बन गई है, लेकिन इसके तौर-तरीकों को अब भी तय किया जाना बाकी है.

भारत-चीन सीमा मामलों पर परामर्श और समन्वय के लिए कार्य तंत्र (WMCC) की 33वीं बैठक के दौरान यह विचार-विमर्श हुआ. भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व विदेश मंत्रालय में संयुक्त सचिव (पूर्वी एशिया) गौरांगलाल दास ने किया, जबकि चीनी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व चीनी विदेश मंत्रालय के सीमा एवं महासागरीय मामलों के विभाग के महानिदेशक हांग लियांग ने किया.

कैलाश-मानसरोवर यात्रा फिर से शुरू करने पर चर्चा

बैठक में दोनों पक्षों ने ट्रांस-बॉर्डर नदियों और कैलाश-मानसरोवर यात्रा को फिर से शुरू करने पर विचार-विमर्श किया. भारत और चीन ने यह भी सहमति जताई कि सीमा प्रबंधन को प्रभावी बनाने के लिए कूटनीतिक और सैन्य स्तर पर समन्वय को बनाए रखा जाएगा.

जानकारी के अनुसार, भारत कैलाश-मानसरोवर यात्रा को फिर से शुरू करने के तरीकों पर चीन के साथ बातचीत कर रहा है. यह यात्रा 2020 में रोक दी गई थी. इसके अलावा, भारत ब्रह्मपुत्र नदी पर चीन द्वारा बनाए जा रहे बड़े जलविद्युत परियोजना को लेकर भी डाटा साझा करने पर जोर दे रहा है.

सीमा प्रबंधन और सुरक्षा पर जोर

बैठक में दोनों देशों ने सीमा प्रबंधन को मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा की. इसके तहत यह सहमति बनी कि सीमा पर शांति और स्थिरता बनाए रखना द्विपक्षीय संबंधों के लिए अत्यंत आवश्यक है. साथ ही, दोनों देशों के विशेष प्रतिनिधियों की अगली बैठक की तैयारी करने पर भी सहमति बनी, जो इस वर्ष भारत में आयोजित होगी.

LAC पर स्थिति की समीक्षा

बैठक में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर मौजूदा स्थिति की समीक्षा की गई. भारत के विदेश मंत्रालय ने स्पष्ट किया कि सीमा पर शांति द्विपक्षीय संबंधों के समुचित विकास के लिए आवश्यक है. वहीं, चीन के विदेश मंत्रालय ने बैठक को “सकारात्मक और रचनात्मक” बताया.

भारत-चीन संबंधों में सुधार के संकेत

भारत और चीन के बीच 2020 में गलवान घाटी में हुई झड़प के बाद से संबंधों में तनाव था. हालांकि, कई दौर की सैन्य और कूटनीतिक बातचीत के बाद दोनों देशों ने पैंगोंग झील, गोगरा और हॉट स्प्रिंग्स से सैनिकों को वापस बुला लिया. पिछले साल अक्टूबर में, दोनों देशों ने देमचोक और डेपसांग में सैन्य टकराव को समाप्त करने पर सहमति बनाई थी.

इसके बाद, प्रधानमंत्री मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने रूस के कज़ान शहर में मुलाकात की और सीमा विवाद को हल करने के लिए विभिन्न मैकेनिज़्म को फिर से सक्रिय करने पर सहमति जताई.