Cyclone Tej Live Tracker: मुंबई के मौसम पर असर डाल सकता है चक्रवात 'तेज', यहां देखें साइक्लोन की लाइव स्थिति
मुंबई में मानसून के बाद बारिश हो सकती है क्योंकि भूमध्यरेखीय क्षेत्र के बगल में अरब सागर के दक्षिण-पूर्वी हिस्सों पर एक कम दबाव का क्षेत्र बन सकता है. इससे संभावित रूप से चक्रवात उत्पन्न हो सकता है.
मुंबई में मानसून के बाद बारिश हो सकती है क्योंकि भूमध्यरेखीय क्षेत्र के बगल में अरब सागर के दक्षिण-पूर्वी हिस्सों पर एक कम दबाव का क्षेत्र बन सकता है. इससे संभावित रूप से चक्रवात उत्पन्न हो सकता है. मौसम विज्ञानियों को अरब सागर में संभावित चक्रवाती तूफान के पहले संकेत मिले हैं, लेकिन इसकी तीव्रता के बारे में अभी अनिश्चितता है. चक्रवात की तीव्रता के बारे में कोई ठोस भविष्यवाणी करना जल्दबाजी होगी. मौसम मॉडल से पता चलता है कि अरब सागर के दक्षिण-पूर्वी हिस्सों में चक्रवाती परिसंचरण की स्थिति बन रही है.
दक्षिण-पूर्व अरब सागर और उससे सटे लक्षद्वीप क्षेत्र में चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है. भारत मौसम विज्ञान विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि इसके प्रभाव से उसी क्षेत्र में कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है. अधिकारी ने कहा, ‘‘फिलहाल, इसके चक्रवाती तूफान में बदलने की संभावना बहुत अधिक नहीं है. मॉडल पूर्वानुमानों में अब तक कोई एकरूपता नहीं है. हमें इसके लिए कुछ और दिनों तक इंतजार करना होगा, तभी स्पष्ट तस्वीर सामने आएगी.’’
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हिंद महासागर क्षेत्र में चक्रवातों के नामकरण के लिए अपनाए गए फॉर्मूले के अनुसार, यदि भारतीय समुद्री क्षेत्र में उष्णकटिबंधीय तूफान बनता है, तो इसे ‘तेज’ नाम दिया जाएगा. अधिकारियों ने कहा कि मौसम प्रणाली के पश्चिम-उत्तर-पश्चिम की ओर आगे बढ़ने और 21 अक्टूबर के आसपास मध्य अरब सागर के ऊपर एक दबाव में तब्दील होने की संभावना है.
समुद्र के गर्म तापमान के कारण बंगाल की खाड़ी और अरब सागर में चक्रवातों के बनने के लिए अक्टूबर से दिसंबर अनुकूल अवधियों में से एक है. वर्ष 2022 में मांनसून के बाद के मौसम के दौरान अरब सागर के ऊपर कोई उष्णकटिबंधीय तूफान नहीं आया. इसके विपरीत, बंगाल की खाड़ी में दो उष्णकटिबंधीय तूफान - सितारंग और मैंडौस आए. ऐसे में, अरब सागर में चक्रवात बनने के आसार अधिक हो जाते हैं.