गांधीनगर: कांग्रेस ने गुजरात में राजकोट व अहमदाबाद के अस्पतालों में बच्चों की मौत को लेकर भाजपा की निंदा की है. दोनों शहरों के दो अस्पतालों में 200 से ज्यादा बच्चों की मौत हुई है. कांग्रेस ने भाजपा को बच्चों के प्रति सहानुभूति नहीं रखने का दोषी बताया और कहा कि प्रधानमंत्री व केंद्रीय गृह मंत्री दोनों इस पर खामोश क्यों हैं. कांग्रेस ने साथ ही राज्य के मुख्यमंत्री की बच्चों की मौत को लेकर सवालों पर प्रतिक्रिया नहीं देने के लिए आलोचना की. राज्य कांग्रेस के प्रभारी राजीव सातव ने कहा, "प्रधानमंत्री और गृह मंत्री बच्चों की मौत पर अपनी चुप्पी कब तोड़ेंगे, जबकि वे गुजरात में किए गए काम से गर्वित होते रहते हैं. वास्तविकता यह है कि राजकोट में लापरवाही की वजह से बीते एक साल में दिसंबर तक 1,250 बच्चे अपना जीवन खो चुके हैं, जबकि गांधीनगर में 3 महीने में 250 बच्चों की मौत हुई है.
कांग्रेस नेता शक्ति सिंह गोहिल ने कहा, "राजस्थान में दो मंत्री कोटा में (जहां 100 से अधिक बच्चों की मौत हो चुकी है) हैं। लेकिन गुजरात में मुख्यमंत्री विजय रूपाणी के निर्वाचन क्षेत्र में 134 बच्चों की मौत हो गई और वह मीडिया के सवालों की परवाह नहीं कर रहे. गोहिल ने कहा, "राजकोट और अहमदाबाद (गुजरात में) में एक महीने में 134 बच्चों की मौत हुई है, 3 महीने में 253 बच्चों की मौत हुई है .. जो लोग राजस्थान के बच्चों की मौत पर राजनीति कर रहे हैं, वे यहां चुप क्यों हैं? राज्य में 1,40,000 से ज्यादा बच्चे कुपोषित हैं..इसके लिए कौन जिम्मेदार है.
गुजरात के उप मुख्यमंत्री नितिन पटेल कहते हैं कि राज्य में बाल मृत्यु दर बहुत कम है। उन्होंने हाल में मीडिया से कहा, "राज्य सरकार के आंकड़ों के अनुसार, प्रति हजार जन्म पर 25 बच्चों की मृत्यु होती है.