नई दिल्ली. सरकार ने प्याज के बढ़ते दाम पर अंकुश लगाने और जमाखोरी रोकने के लिये खुदरा विक्रेताओं के लिए प्याज की अधिकतम भंडारण (स्टॉक) सीमा को सोमवार को पांच टन से घटाकर दो टन कर दिया. उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने राज्य सरकारों को खुदरा विक्रेताओं की जमाखोरी रोकने के लिए तत्काल प्रभाव से कदम उठाने के निर्देश दिए हैं. मंत्रालय ने बयान में कहा कि प्याज की खुदरा कीमतों में तेजी को देखते हुए उसने खुदरा व्यापारियों के लिए प्याज की अधिकतम भंडारण सीमा को पांच टन से कम करके दो टन कर दिया है. यह फैसला तत्काल प्रभाव से लागू होगा.
पिछले हफ्ते मंत्रालय ने खुदरा विक्रेताओं के लिए अधिकतम सीमा को 10 टन से घटाकर पांच टन और थोक विक्रेताओं के लिए भंडारण सीमा को 50 टन से घटाकर 25 टन कर दिया था. भारी बारिश के बाद खरीफ फसल के उत्पादन में गिरावट आने से प्याज की आपूर्ति प्रभावित हुई है. इससे खुदरा बाजार में प्याज के दाम आसमान छू रहे हैं. यह भी पढ़े-प्याज 100 क्विंटल से अधिक स्टॉक में नहीं रख सकेंगे रिटेल कारोबारी, मोदी सरकार ने किया स्टॉक लिमिट का ऐलान
Ministry of Consumer Affairs, Food and Public Distribution:
Stock holding limits (of onions) on retailers have been further revised from 5 MT (metric tonnes) to 2 MT. States have been asked to carry out immediate anti-hoarding operations.
— ANI (@ANI) December 9, 2019
मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक , सोमवार को प्याज का अधिकत खुदरा भाव 165 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गया. ज्यादातर शहरों में प्याज 100 रुपये से ऊपर बिकी.
(भाषा इनपुट के साथ)