पुणे, 17 अक्टूबर कांग्रेस नेता शशि थरूर ने शनिवार को कहा कि सामाजिक कार्यकर्ताओं वरवर राव, सुधा भारद्वाज और आनंद तेलतुम्बडे समेत बड़ी संख्या में लोग अपनी अभिव्यक्ति को लेकर हिरासत में हैं, हालांकि उनमें से किसी पर भी किसी को मारने या बंदूक रखने का आरोप नहीं है।
तिरुवनंतपुरम के सांसद और कई पुस्तकों के लेखक थरूर ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये ‘सिम्बायोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी लिटरेरी फेस्टिवल’ में कहा कि कुछ सामाजिक कार्यकर्ताओं समेत बड़ी संख्या में लोगों को केवल उनके बयानों के लिए हिरासत में रखा गया है।
उन्होंने कहा, ‘‘जब मैं स्कूल में था, तब सीखा था कि कलम तलवार की तुलना में ज्यादा ताकतवर होती है। आज, मैंने हमारे देश, उसकी राजनीति और उसके विमर्श को देखा है। अब मैं इससे सहमत नहीं हूं।’’
कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘मुझे यह कहते हुए दुख हो रहा है कि अभव्यक्ति और विचार संभवत: अपनी ताकत खो चुके है। कुछ समय के लिए सत्ता और अधिकार शब्दों को कुचल सकते हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हमने देखा है कि अपनी अभिव्यक्ति के लिए बड़ी संख्या में लोग हिरासत में हैं। वर्तमान में वरवर राव, वर्नोन गोंजाल्विस, सुधा भारद्वाज और आनंद तेलतुम्बडे जैसे लोग अपने बयानों के लिए हिरासत में हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘इनमें से किसी पर पत्थर फेंकने, किसी को मारने या बंदूक रखने या ऐसा कुछ भी करने का आरोप नहीं है। यह केवल शब्दों को लेकर है। यदि सरकार के अधिकार के लिए कलम को मिटा दिया जाता है, तो कलम को तलवार के बराबर कैसे खड़ा किया जायेगा।’’
एक जनवरी, 2018 को पुणे के निकट कोरेगांव भीमा में भीड़ को हिंसा के लिए उकसाने में कथित संलिप्पता और माओवादियों से कथित संपर्क के लिए राव, गोंजाल्विस, भारद्वाज, तेलतुम्बडे और कुछ अन्य कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया है।
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