Money Laundering Cases: सत्येंद्र जैन ने तिहाड़ में सह-आरोपियों, परिजन से मुलाकात की- जांच समिति की रिपोर्ट

दिल्ली के उपराज्यपाल वी के सक्सेना द्वारा गठित एक जांच समिति ने पाया है कि तिहाड़ जेल में बंद दिल्ली के मंत्री सत्येंद्र जैन ने धन शोधन मामले के सह-आरोपियों और अपने परिवार के सदस्यों से जेल में मुलाकात की और अति विशिष्ट व्यक्ति की तरह सुविधाएं प्राप्त कर अपने पद का ‘‘दुरुपयोग’’ किया.

सत्येंद्र जैन (Photo: ANI)

नयी दिल्ली, 2 दिसंबर : दिल्ली के उपराज्यपाल वी के सक्सेना (VK Saxena) द्वारा गठित एक जांच समिति ने पाया है कि तिहाड़ जेल में बंद दिल्ली के मंत्री सत्येंद्र जैन (Satyendra Jain) ने धन शोधन मामले के सह-आरोपियों और अपने परिवार के सदस्यों से जेल में मुलाकात की और अति विशिष्ट व्यक्ति की तरह सुविधाएं प्राप्त कर अपने पद का ‘‘दुरुपयोग’’ किया. आधिकारिक सूत्रों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी. सूत्रों ने बताया कि दिल्ली सरकार के गृह, कानून और सतर्कता विभागों के प्रधान सचिवों की सदस्यता वाली समिति की रिपोर्ट में जैन के साथ तत्कालीन महानिदेशक (कारागार) संदीप गोयल की ‘‘मिलीभगत’’ का उल्लेख किया गया है.

बहरहाल, दिल्ली सरकार के सूत्रों ने दावा किया कि उपराज्यपाल के पास यह समिति गठित करने का कोई अधिकार नहीं है. उन्होंने कहा कि समिति और उसकी रिपोर्ट गैरकानूनी है. उन्होंने कहा कि उपराज्यपाल को यह पता होना चाहिए कि भारत का एक संविधान है और वह उससे बंधे हुए हैं. जैन को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 31 मई को धन शोधन के मामले में गिरफ्तार किया था. रिपोर्ट की प्रति में कहा गया है कि जैन को जेल में पांच कैदियों और अन्य जेल कर्मचारियों द्वारा विभिन्न सेवाएं प्रदान की गईं. इसमें कहा गया है कि इनमें से दो कैदी रिंकू और मनीष, नाबालिगों से बलात्कार के मामले में यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम के तहत आरोपी हैं. रिंकू को एक कथित वीडियो में जैन की कोठरी में उनकी मालिश करते देखा गया था और मनीष ने जैन को कथित तौर पर फल और बाहर का खाना मुहैया कराया. यह भी पढ़ें : लुधियाना अदालत बम विस्फोट मामले का मुख्य साजिशकर्ता दिल्ली हवाईअड्डे से गिरफ्तार

रिपोर्ट के मुताबिक, रिंकू ने समिति के सदस्यों को बताया कि उसके पास मालिश या फिजियोथेरेपी का कोई प्रशिक्षण नहीं है और वह शादियों में ‘घुड़चढ़ी’ की रस्म के लिए घोड़ी उपलब्ध कराने का काम करता है. समिति ने जैन को ‘‘अति विशिष्ट व्यक्ति की तरह सुविधाएं’’ देने के लिए गोयल के खिलाफ ‘‘विभागीय कार्रवाई’’ की सिफारिश भी की है. रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘जेल नियमों का उल्लंघन करते हुए जैन उसी मामले में सह-आरोपियों के साथ अपने कमरे में अक्सर मुलाकात करते थे, जिसमें उन्हें गिरफ्तार किया गया है. इन सह-आरोपियों में वैभव जैन और अंकुश जैन के अलावा संजय गुप्ता और रमन भूरारिया शामिल हैं. गुप्ता और भूरारिया प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दायर अन्य मामलों में आरोपी हैं.’’ इसमें कहा गया है कि जैन की पत्नी और परिवार के अन्य सदस्यों ने नियमों का ‘‘घोर उल्लंघन’’ कर और तत्कालीन महानिदेशक (कारागार) और तिहाड़ जेल अधीक्षक अजीत कुमार सहित वरिष्ठ जेल अधिकारियों की ‘‘मिलीभगत’’ के साथ ‘‘अक्सर’’ उनसे जेल में मुलाकात की.

जेल में बंद महाठग सुकेश चंद्रशेखर द्वारा पैसे लेने का आरोप लगाए जाने के बाद गोयल का तबादला कर दिया गया था. वहीं, कुमार को इस मामले में निलंबित कर दिया गया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि जेल प्राधिकारियों ने तिहाड़ जेल के पांच कैदियों पर जैन को ‘‘विशेष सेवाएं’’ देने के लिए ‘‘दबाव’’ डाला था. इन कैदियों में रिंकू नाम का वह कैदी भी शामिल है, जिसे कथित वीडियो में जैन की मालिश करते देखा गया था. ईडी ने अदालत में कहा था कि जैन के साथ जेल में ‘‘विशेष व्यवहार’’ किया जा रहा है, जिसके बाद पिछले महीने इस जांच समिति का गठन किया गया था.

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