नयी दिल्ली, 28 अगस्त नोएडा सेक्टर 93ए में सुपरटेक के 100 मीटर ऊंचे ट्विन टावर ढहाए जाने का बाद जब अधिकारियों ने घोषणा की कि आसपास की इमारतों को कोई नुकसान नहीं हुआ है तो निवासियों ने राहत की सांस ली।
अदालत के आदेश पर इमारतें ढहाए जाने के कुछ देर बाद अधिकारियों ने बताया कि आसपास की इमारतें सुरक्षित नजर आईं हैं। हालांकि, एक विस्तृत ‘ऑडिट’ जारी है।
दिल्ली की ऐतिहासिक कुतुब मीनार (73 मीटर) से भी ऊंची ये इमारतें चंद सेकेंड के भीतर जमींदोज हो गईं।
नोएडा में ट्विन टावर के निकट स्थित सोसाइटी 'एमराल्ड कोर्ट' के निकट रहने वाली सरिता शनिवार को अस्थायी रूप से रहने के लिए दिल्ली आ गई थीं।
उन्होंने कहा, ''मैं इमारतें ढहाए जाने से पहले दिल्ली आ गई थी और हम रविवार रात को वापस लौटेंगे। प्रथम दृष्टया, ऐसा प्रतीत होता है कि हमारी इमारतों को कोई नुकसान नहीं हुआ है। हमें बताया गया है कि अधिकारी पहले इलाके की जांच करेंगे और फिर हमें अंदर जाने देंगे।''
सोसाइटी की एक अन्य निवासी एकता गुप्ता ने कहा कि अधिकारियों ने उन्हें सूचित किया है कि उनकी इमारतों को कोई नुकसान नहीं हुआ है, जिसके बाद वे शाम साढ़े छह बजे के बाद अपनी सोसाइटी में लौटने की योजना बना रहे हैं।
सिल्वर सिटी सोसाइटी द्वारा प्रदान किए गए अस्थायी आवास में गईं गौरी ग्रोवर ने कहा कि सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें सूचित किया है कि उनकी इमारतों को कोई नुकसान नहीं हुआ है।
उन्होंने कहा, ‘‘मुझे राहत मिली है। हमने अपने पूरे घर को कवर किया है और अपना कीमती सामान अंदर रख रखा है। मेरे पति मर्चेंट नेवी में हैं और बेटा अपने दादा-दादी के पास है। मैं घर पर अकेली थी। हमने सिल्वर सिटी की छत से, इमारतों को ढहाए जाते देखा है।''
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