कोयंबटूर, 25 फरवरी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दक्षिण के राज्य तमिलनाडु और केंद्र शासित पुडुचेरी में होने वाले आगामी विधानसभा चुनावों के मद्देनजर भाजपा के चुनावी अभियान का शंखनाद करते हुए बृहस्पतिवार को द्रविड़ मुनेत्र कषगम (द्रमुक) और कांग्रेस को कुशासन, भ्रष्टाचार और परिवारवाद के मुद्दों पर जमकर आड़े हाथों लिया और दावा किया कि ‘‘सुशासन’’ तो राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) ही ला सकता है।
विकास की लगभग दर्जन भर विभिन्न परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास करने के बाद प्रधानमंत्री ने इन प्रदेशों में अलग-अलग जनसभाओं को भी संबोधित किया और विकास कार्यों के अलावा स्थानीय संस्कृति और महान विभूतियों का उल्लेख कर मतदाताओं को लुभाने का भी प्रयास किया।
कोयंबटूर में उन्होंने भगवान मुरुगा को समर्पित ‘‘वेत्रीवेल वीरावेल’’ के नारे से अपने भाषण की शुरुआत की और तमिल संस्कृति व गर्व का गौरव गान किया। इस दौरान उन्होंने प्राचीन तमिल काव्य तिरुकुराल की पंक्तियां भी उद्घृत कीं।
प्रधानमंत्री ने तमिलनाडु में द्रमुक और कांग्रेस के बीच गठबंधन को जमकर आड़े हाथों लिया और कहा कि दोनों विपक्षी दलों के बीच अंतर्विरोध इतना है कि वे तमिलनाडु में सुशासन नहीं दे सकते।
इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने द्रमुक-कांग्रेस गठबंधन पर जमकर निशाना और यह आरोप भी लगाया कि दोनों दलों का गठबंधन ‘‘भ्रष्टाचार के हैकाथॉन’’ जैसा है और उनकी फितरत ‘‘लूट’’ है।
उन्होंने कहा कि देश आज दो तरह की राजनीति देख रहा है। पहला है विपक्ष का कुशासन और भ्रष्टाचार जबकि दूसरा है राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) का संवेदना भरा सुशासन।
उन्होंने कहा, ‘‘विपक्ष की राजनीति डराने धमकाने वाली और लोगों को प्रताड़ित करने पर आधारित है। द्रमुक जब भी सत्ता में आती है तो वह बाहुबल की संस्कृति को बढ़ावा देती है। हर जिले में उनके पास असामाजिक तत्व हैं जो निर्दोष लोगों को परेशान करते हैं।’’
उन्होंने कहा कि पूरे तमिलनाडु को पता है कि द्रमुक ने सत्ता में रहते हुए पूर्व मुख्यमंत्री जे जयललिता के साथ कैसा व्यवहार किया था।
उन्होंने कहा, ‘‘मुझे उसे दोहराने की जरूरत नहीं है। औरतों के प्रति यह उनके व्यवहार को दर्शाता है। दुख की बात ये है कि जिन्होंने जयललिता जी को परेशान किया, उन्हें कांग्रेस और द्रमुक ने सम्मानित किया।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि द्रमुक और कांग्रेस का गठबंधन ‘‘भ्रष्टाचार के हैकाथॉन’’ जैसा है।
उन्होंने कहा, ‘‘उनके नेता बैठते हैं और कैसे ‘लूटा’ जाए को लेकर मंथन करते हैं। जो सबसे अच्छा रास्ता बताता है उसे पद व मंत्रालय से नवाजा जाता है।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि परिवारवाद से ग्रसित दोनों पार्टियां अपने ‘‘प्रथम परिवार’’ को लगातार ‘‘लांच और रिलांच’’ करती रही हैं लेकिन अभी तक उन्हें इसमें सफलता नहीं मिली है।
उन्होंने कहा, ‘‘वहां लगातार पारिवारिक नाटक चल रहा है। कांग्रेस और द्रमुक अपने आंतरिक मामलों में इतने व्यस्त हैं कि वे तमिलनाडु में सुशासन प्रदान नहीं कर सकते।’’
ज्ञात हो कि पूर्व मुख्यमंत्री एम करूणानिधि के पुत्र एम के स्टालिन द्रमुक का नेतृत्व कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि द्रमुक ने तो पूरे तमिलनाडु की पार्टी कहलाने का हक भी खो दिया है।
उन्होंने कहा, ‘‘पिछली बार उसे 25 साल पहले अपने दम पर सरकार बनाने का मौका मिला था। कांग्रेस और द्रमुक दोनों ही अंतर्विरोधों की शिकार हैं।’’
मोदी ने कहा कि इसके विपरीत राजग परिवार एकजुट है और इसका एकमात्र उद्देश्य तमिलनाडु और राज्य की जनता का कल्याण हैं। ज्ञात हो कि तमिलनाडु में भाजपा और अन्नाद्रमुक का गठबंधन है।
उन्होंने कहा, ‘‘जिस तरीके से केंद्र की राजग सरकार और तमिलनाडु सरकार ने काम किया है वह सहकारी संघवाद का बेहतरीन उदाहरण है। हमने तमिलनाडु की जनता के हित में साथ काम किया है।’’
प्रधानमंत्री ने तमिलनाडु को 12,400 करोड़ रुपये की लागत वाली आधारभूत संरचना से जुड़ी कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं की सौगात भेंट की और कहा कि इन विकास कार्यों से पूरे राज्य को फायदा होगा।
इससे पहले, पुडुचेरी की जनसभा में मोदी ने कांग्रेस और उसकी पूर्ववर्ती पुडुचेरी सरकार पर करारा हमला बोला और कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री वी नारायणसामी ने अपने कार्यकाल के दौरान यहां की जनता की नहीं, बल्कि दिल्ली के ‘‘हाई कमान’’ की सेवा की, जो ‘‘बांटो, झूठ बोलो और शासन करो’’ की नीति पर विश्वास करती है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार के पतन के बाद यहां की जनता ‘‘कुशासन’’ से आजादी मिलने का जश्न मना रही है।
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन के दौरान पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के ‘‘उत्तर-दक्षिण’’ वाले बयान और केंद्र में मत्स्य पालन मंत्रालय ना होने के दावे के लेकर उन पर तीखा हमला बोला।
उन्होंने कहा, ‘‘वर्ष 2016 में पुडुचेरी की जनता ने बहुत उम्मीदों के साथ कांग्रेस की सरकार बनाई थी, ताकि उनकी आकांक्षाओं की पूर्ति हो सके लेकिन उन्हें जनता की सरकार नहीं मिली। उन्हें ऐसी सरकार मिली जो दिल्ली में बैठी अपनी हाई कमान (शीर्ष नेतृत्व) की सेवा करने में व्यस्त थी।’’
उन्होंने आश्वासन दिया कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की अगली सरकार जनता की सरकार होगी।
ज्ञात हो कि नारायणसामी को पिछले दिनों कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार के अल्पमत में आ जाने के बाद मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था। इस केंद्र शासित प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लागू कर दिया गया है। पुडुचेरी में अप्रैल-मई में विधानसभा के चुनाव प्रस्तावित हैं।
मोदी ने कहा, ‘‘इस बार जब आप लोग मतदान करेंगे, तो विकास विरोधी ताकतों को खारिज कर दीजिए और राजग के सुशासन का समर्थन कीजिए और पुडुचेरी को ऐसी सरकार दीजिए जो उसकी गरिमा को वापस लौटा सके।’’
प्रधानमंत्री ने आरोप लगाया कि कांग्रेस जनता के लिए काम करने में यकीन नहीं रखती है और नारायणसामी के नेतृत्व वाली सरकार ने केंद्र के साथ असहयोग का रवैया अपनाया।
पुडुचेरी में पंचायत चुनाव ना कराने के लिए भी प्रधानमंत्री ने पूर्व मुख्यमंत्री को आड़े हाथों लिया और कहा कि विपरीत परिस्थितियों में जम्मू एवं कश्मीर में स्थानीय निकाय के चुनाव संपन्न हुए लेकिन अदालत के आदेश के बावजूद यहां की कांग्रेस सरकार ने पंचायत चुनाव नहीं कराए।
उन्होंने कहा, ‘‘पुडुचेरी की जनता कांग्रेस की इस गैर-लोकतांत्रिक सोच का करारा जवाब देगी।’’
प्रधानमंत्री ने कहा कि पांच साल पुडुचेरी में कांग्रेस ने जिस तरह से शासन किया यह राष्ट्रीय स्तर पर कांग्रेस की कार्यप्रणाली को दर्शाता है।
राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा, ‘‘अग्रेजों की नीति फूट डालो और शासन करने की थी। कांग्रेस की नीति फूट डालो, झूठ बोलो और शासन करने की है। कभी उनके नेता एक क्षेत्र को दूसरे क्षेत्र से, एक समुदाय को दूसरे समुदाय के खिलाफ भड़काते हैं। वे झूठ बोलने में स्वर्ण, रजत और कांस्य पदक विजेता हैं।’’
गांधी ने पिछले दिनों तिरुवनंतपुरम में एक सभा को संबोधित करते हुए उत्तर और दक्षिण भारत को लेकर अपना अनुभव साझा किया और कहा था, ‘‘पहले 15 वर्षों के लिए मैं उत्तर (भारत) से सांसद था। मुझे एक अलग प्रकार की राजनीति की आदत हो गई थी। केरल आने पर मुझे अलग तरह का अनुभव हुआ क्योंकि मैंने अचानक पाया कि लोग मुद्दों में रुचि रखते हैं और न केवल बनावटी तौर पर बल्कि मुद्दों में विस्तार से जाते हैं।’’
राहुल गांधी के मत्स्य पालन मंत्रालय ना होने के दावे पर पर भी प्रधानमंत्री ने उन्हें आड़े हाथों लिया और कहा कि वह ऐसे ‘‘झूठ’’ से चकित हो गए।
उन्होंने कहा, ‘‘सच्चाई ये है कि वर्तमान सरकार ने 2019 में इस मंत्रालय का गठन किया था। इस मंत्रालय का बजट पिछले दो सालों में भारी वृद्धि हुई है।’’
मोदी ने कहा कि लोकसभा में कांग्रेस की सीटें घटकर सबसे कम हो गई हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘उनकी सामंतवादी, संरक्षण देने और परिवारवाद की राजनीति अब समाप्त हो रही है। भारत का युवा और आकांक्षी और आगे बढ़ने की सोच रखता है।’’
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