मुंबई, 22 जून केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले ने शनिवार को महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन को सलाह दी कि विधानसभा चुनाव में जीत के लिए उसे दलितों और अल्पसंख्यकों को अपने साथ लेने की जरूरत है।
आठवले ने यहां पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि उनकी रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (आठवले) अक्टूबर में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए आठ से दस सीट की मांग करेगी। महाराष्ट्र में 288 विधानसभा सीट हैं।
सत्तारूढ़ गठबंधन में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) एकनाथ शिंदे नीत शिवसेना और अजित पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (रांकपा) शामिल है।
आठवले ने कहा कि हम अगले महीने वाले विधानपरिषद चुनाव में एक सीट की भी मांग करेंगे। उन्होंने कहा कि राज्य मंत्रिमंडल के प्रस्तावित विस्तार में उन्हें एक मंत्री पद मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने उन्हें आश्वासन दिया है कि वह उनकी मांग पर विचार किया जाएगा।
आठवले ने कहा कि वह चाहते थे कि उनकी पार्टी शिरणी और शोलापुर लोकसभा क्षेत्र से चुनाव लड़े, लेकिन भाजपा ने उनके अनुरोध को नहीं माना।
उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव में हमे (भाजपा नीत राजग को) उम्मीद थी कि महाराष्ट्र की 40 सीट जीतेंगे, लेकिन 17 ही जीती।
उन्होंने आम चुनावों में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के खराब प्रदर्शन का हवाला देते हुए कहा कि विपक्ष के इस दावे से दलित मतदाता भ्रमित हुए कि अगर भाजपा ने 400 से अधिक सीट जीतीं तो वह संविधान बदल देगी।
उन्होंने कहा कि विपक्षी दलों के महा विकास आघाड़ी (एमवीए) और महायुति के मत प्रतिशत में ज्यादा अंतर नहीं है।
उन्होंने कहा, “विधानसभा चुनाव जीतने के लिए दलितों और अल्पसंख्यकों को महायुति के पाले में लाना होगा। मैं महायुति नेताओं की बैठक में यह बात रखूंगा।”
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि अगर एकजुट रहे तो सत्तारूढ़ गठबंधन चुनाव जीत सकता है।
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