बेंगरुलु, 24 अगस्त भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने वैज्ञानिक आकलन और चंद्रयान-2 ऑर्बिटर के सभी प्रयोगों के आंकड़ों को इस्तेमाल करने के वास्ते ‘‘एनाउंसमेंट ऑफ ऑपरच्यूनिटी’(एओ) के तहत प्रस्ताव मांगे हैं।
इसरो के मुताबिक चंद्र आकृति विज्ञान को समझने, सतह के आयु निर्धारण और चंद्र की सतह के घटक सहित विविध आयामों को समझने के लिए भारतीय अनुसंधानकर्ताओं ने चंद्रयान-1से प्राप्त आंकड़ें का खूब इस्तेमाल किया है।
अंतरिक्ष एजेंसी ने कहा, ‘‘इन अध्ययनों ने चंद्रमा विकास प्रक्रिया पर समझ उन्नत करने के अवसर दिए हैं। चंद्रयान-1 से इस प्रकार के अध्ययन ने भारतीय चंद्रमा विज्ञान समुदाय को विस्तार दिया है।’’
इसरो ने कहा कि चंद्र विज्ञान अध्ययन के लिए भारतीय अनुसंधान समुदाय को और मजबूत करने के लिए चंद्रयान-2 ऑर्बिटर पेलोड आंकड़ों को जनता और वैज्ञानिक प्रस्तावों के लिए उपलब्ध कराया जा रहा है।
चंद्रयान-2 ऑर्बिटर पेलोड उच्च गुणवत्ता वाले आंकडें भेज रहा है जो वैज्ञानिक आकलन के लिए सार्वजनिक किए जा रहे हैं। अतिरिक्ष एजेंसी ने कहा कि विभिन्न पेलोड से और आकडें मिलने के बाद उन्हें भी इसमें जोड़ा जाएगा।
इसरो ने कहा, ‘‘चंद्रयान-2 ऑर्बिटर पेलोड से विज्ञान निष्कर्ष को बढ़ाने के लिए, इसरो इस एओ के माध्यम से राष्ट्रीय वैज्ञानिक समुदाय से वैज्ञानिक प्रस्ताव मांगता है।’’
उसने कहा कि एओ भारत के मान्यता प्राप्त शैक्षणिक संस्थानों, विश्वविद्यालयों, कॉलेज, तारामंडल और सरकारी संगठनों के सभी अनुसंधानकर्ताओं के लिए खुला है।
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