कोविड-19 के मद्देनजर दिल्ली में अधिकतर लोगों ने घर में ही पढ़ी ईद-उल-अजहा की नमाज़
कोरोना वायरस का कहर (Photo Credits: PTI)

नयी दिल्ली, 21 जुलाई : वैश्विक महामारी के साये के बीच दिल्ली में बुधवार को ईद-उल-अजहा के मौके पर अधिकतर लोगों ने नमाज घर में ही पढ़ी. संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए शहर में त्योहार पर एकत्रित होने पर रोक है. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने लोगों को बकरीद की शुभकामनाएं दी. उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘ सभी देशवासियों को ईद-उल-अज़हा की दिल से मुबारकबाद. ये त्योहार आप सभी के जीवन में सुख, समृद्धि एवं खुशियां लेकर आए.’’ बकरीद पर मस्जिदों में आमतौर पर दिखने वाली हलचल और रौनक नदारद रही. पुरानी दिल्ली की जामा मस्जिद और फतेहपुरी मस्जिद भी लोगों के लिए बंद थी. भीड़ जमा न हो, इसके लिए मस्जिदों के बाहर पुलिस भी तैनात की गई है.

जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने कहा, ‘‘ कोविड-19 संबंधी पाबंदियों के चलते सामूहिक रूप से नमाज़ पढ़ने पर रोक है, केवल कुछ कर्मचारियों और उनके परिवार ने ही आज ईद-उल-अजहा की नमाज़ पढ़ी.’’ पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि लोगों को घर पर ही ईद मनाने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए इमामों के साथ बैठकें की गयी थीं, ताकि कोविड-19 वैश्विक महामारी के मद्देनजर सभी की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके. उन्होंने बताया कि अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की गई है और गश्त भी बढ़ा दी गई है ताकि त्योहार पर भीड़ एकत्रित ना हो.

अधिकारी ने कहा, ‘‘लोगों को ईद की मुबारकबाद देने के लिए पुलिस ने पोस्टर लगाए हैं और साथ ही उनसे घर पर ही परिवार के साथ त्योहार मनाने तथा सुरक्षित रहने की अपील की गई है.’’ पुलिस उपायुक्त (नयी दिल्ली) दीपक यादव ने कहा कि मस्जिदों के इमाम और अन्य सदस्यों को कोविड-19 से जुड़े दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) के दिशानिर्देशों के बारे में जानकारी दी गई और त्योहार सुरक्षित तरह से मनाने के लिए उनका सहयोग मांगा गया.