शिमला, 21 दिसंबर कांग्रेस की हिमाचल प्रदेश इकाई ने राज्य की नयी सरकार पर पुरानी परियोजनाओं को खत्म कर प्रतिशोध की राजनीति करने का आरोप लगाने के लिए पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर पर बुधवार को निशाना साधा और कहा कि वह दिल्ली में केवल अपने आकाओं से खुश करने के लिए ऐसा कर रहे हैं।
कांग्रेस विधायकों राजेश धर्माणी, संजय रतन और सुंदर सिंह ठाकुर ने एक संयुक्त बयान में कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री नयी दिल्ली में अपने नेतृत्व को खुश करने की जल्दी में हैं और इसी लिए वह इस तरह के ‘‘निराधार बयान’’ दे रहे हैं।
विधायकों ने कहा कि कांग्रेस को लोगों ने पांच साल तक राज्य में शासन करने के लिए भारी जनादेश दिया है और पार्टी अपने घोषणापत्र में दी गई सभी 10 गारंटी को पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने ठाकुर को धैर्य रखने की सलाह देते हुए कहा कि कांग्रेस सरकार ने प्रदेश की बागडोर अभी संभाली है, लेकिन वह जल्द ही हरकत में आएगी।
उन्होंने आरोप लगाया कि विधानसभा चुनाव से पहले लोगों को लुभाने के लिए पिछली सरकार ने बजट प्रावधानों पर विचार किए बिना कई संस्थान खोल दिए।
विधायकों ने बयान में कहा कि जनता की मांग पर एक भी संस्थान न तो खोला गया, न ही उन्नत किया गया।
विधायकों ने कहा कि जब भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पिछली बार राज्य में सत्ता में आई थी तो उसने पिछली कांग्रेस सरकार के लगभग सभी ‘‘विकासोन्मुखी निर्णयों’’ को रद्द कर दिया था।
उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार ही हमेशा प्रतिशोध की राजनीति करती है।
इस बीच, भाजपा की राज्य इकाई के प्रमुख सुरेश कश्यप ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा खोले गए 32 नए बिजली कार्यालयों संबंधी अधिसूचना रद्द करना दिखाता है कि कांग्रेस बदले की भावना से काम कर रही है।
उन्होंने कहा कि राज्य भाजपा ने उन सभी मंडलों और अनुमंडलों के एसडीएम (उपमंडलीय मजिस्ट्रेट) के माध्यम से राज्यपाल को एक ज्ञापन सौंपने का फैसला किया है, जहां कार्यालय बंद किए गए हैं।
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