यह प्रस्ताव खाड़ी के मुल्क कतर के साथ मिलकर तैयार किया गया है और इसे इज़राइल, हमास, अमेरिका तथा यूरोपीय सरकारों के सामने रखा गया है। हालांकि यह हमास को पूरी तरह से कुचलने के इज़राइल के लक्ष्य की पूर्ति नहीं करता है और लगता है कि युद्ध के बाद गाज़ा पर लंबे समय तक सैन्य नियंत्रण बनाए रखने के इज़राइल के आग्रह को भी पूरा नहीं करेगा।
मिस्र के अधिकारी ने कहा कि मिस्र और कतर विशेषज्ञों के नेतृत्व में सरकार गठन के लिए हमास समेत फलस्तीन के सभी गुटों के साथ काम करेंगे। उन्होंने कहा कि यह सरकार संक्रमण काल के लिए गाज़ा और वेस्ट बैंक पर हुकूमत करेगी और इस दौरान फलस्तीनी गुट अपने मतभेद दूर करने और राष्ट्रपति तथा संसदीय चुनाव कराने की रूपरेखा पर सहमत होने के लिए काम करेंगे।
अधिकारी ने बताया कि इज़राइल और हमास व्यापक समझौते को लेकर बातचीत जारी रखेंगे।
एक पश्चिमी राजनयिक ने कहा कि उन्हें मिस्र के प्रस्ताव की जानकारी है और इस बात पर संदेह व्यक्त किया कि इज़राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू समूचे प्रस्ताव को स्वीकार करेंगे।
इज़राइल के एक अधिकारी ने बताया कि प्रधानमंत्री नेतन्याहू समेत इज़राइल की युद्ध कैबिनेट सोमवार को बैठक कर बंधकों की स्थिति समेत अन्य मुद्दों पर चर्चा करेगी। उन्होंने यह नहीं बताया कि कैबिनेट मिस्र के प्रस्ताव पर चर्चा करेगी या नहीं।
यह प्रस्ताव ऐसे वक्त आया है जब इज़राइल खचाखचा भरे मध्य और दक्षिणी गाज़ा में हवाई हमले कर रहा है तथा उन इमारतों को ज़मींदोज़ कर रहा है जिनमें लोगों ने पनाह ली हुई है।
मगाज़ी शरणार्थी शिविर में तीन मंजिला इमारत और आसपास की इमारतों पर हमले के बाद बचाव कर्मियों ने मलबे से से दर्जनों शव निकाले।
अस्पताल के आंकड़ों के मुताबिक, कम से कम 106 लोगों की मौत हो चुकी है।
युद्ध ने गाज़ा के कई हिस्सों को तबाह कर दिया है। इस दौरान करीब 20,400 फलस्तीनी मारे गए हैं और क्षेत्र के लगभग सभी 23 लाख लोग विस्थापित हो गए है।
वहीं, शुक्रवार से इज़ारइल के 17 सैनिक मारे गए हैं जबकि ज़मीनी हमला शुरू किए जाने के बाद इज़राइल के 156 सैनिक मारे जा चुके हैं।
हमास ने सात अक्टूबर को इज़राइल के दक्षिणी इलाकों पर हमला किया था जिसमें 1200 लोगों की मौत हुई थी और उसने 240 लोगों को बंधक बना लिया था।
युद्ध में अपनी बेटी और अन्य रिश्तेदारों को खो चुके फलस्तीनी अहमद तुर्कमनी ने कहा, ‘‘हम सभी निशाने पर हैं। गाजा में कोई जगह सुरक्षित नहीं है।’’
इजराइल हमास के शासन और सैन्य क्षमताओं को कुचलने तथा शेष 129 बंदियों को रिहा कराने के घोषित लक्ष्यों को पूरा करने के लिए लगातार हमले कर रहा है जबकि इजराइल के हमलों के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय दबाव बढ़ रहा है।
एपी
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