कांग्रेस के 36 विधायकों, 39 कार्यकर्ताओं को बोर्ड, निगमों में नियुक्त किया जाएगा: शिवकुमार
कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी के शिवकुमार ने बृहस्पतिवार को कहा कि कांग्रेस के 36 विधायकों और 39 कार्यकर्ताओं को राज्य संचालित बोर्ड और निगमों में प्रमुख पदों पर नियुक्त किया जाएगा।
बेंगलुरु, 18 जनवरी : कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी के शिवकुमार ने बृहस्पतिवार को कहा कि कांग्रेस के 36 विधायकों और 39 कार्यकर्ताओं को राज्य संचालित बोर्ड और निगमों में प्रमुख पदों पर नियुक्त किया जाएगा. उन्होंने कहा कि सूची ‘‘किसी भी क्षण’’ जारी कर दी जाएगी. कांग्रेस की कर्नाटक इकाई के अध्यक्ष शिवकुमार ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘बोर्ड और निगमों में नियुक्तियों में 36 विधायकों और 39 पार्टी कार्यकर्ताओं को समायोजित किया जा रहा है.
पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं ने पार्टी को राज्य में सत्ता में पहुंचाया है और उन्हें उचित सम्मान दिया गया है.’’ उन्होंने कहा कि पार्टी की लोकसभा चुनाव समिति की बैठक शुक्रवार को यहां होगी. शिवकुमार ने कहा, ‘‘कल हमारी पहले दौर की बैठक होगी. बैठक में जगदीश शेट्टर और लक्ष्मण सावदी (जो पिछले साल मई में विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा से कांग्रेस में शामिल हुए थे) को भी आमंत्रित किया गया है.
जिला प्रभारी मंत्रियों ने सभी निर्वाचन क्षेत्रों से राय ली है और कल की बैठक में इस पर चर्चा की जाएगी.’’कुछ मंत्रियों के लोकसभा चुनाव लड़ने के प्रति कथित तौर पर अनिच्छुक होने को लेकर उन्होंने कहा, ‘‘अगर पार्टी चाहती है, तो सभी को चुनाव लड़ना होगा, चाहे वह मैं हूं या कोई और हो.’’ शिवकुमार ने विश्वास जताया कि पार्टी कर्नाटक की कुल 28 में से कम से कम 25 लोकसभा सीटें जीतेगी.
जनता दल (सेक्युलर) के भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) में शामिल होने के बारे में उन्होंने कहा, ‘‘यह उनकी इच्छा है.’’ उपमुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘पिछली बार जब हमने जद (एस) के साथ हाथ मिलाया था, तो हमें बहुत सारी सीटें जीतने की उम्मीद थी, लेकिन हमें एक-एक सीट ही मिली.’’ वर्ष 2019 के लोकसभा चुनावों में, भाजपा ने 25 सीटें जीतीं और कांग्रेस और जद (एस) ने एक-एक सीट जीती। भाजपा समर्थित एक निर्दलीय भी विजयी हुआ.
कुछ भाजपा नेताओं ने टिप्पणियां की थीं कि कांग्रेस को राम मंदिर मुद्दे पर अपने रुख के कारण लोकसभा चुनाव में ‘झटका’ लगेगा. इस बारे में पूछे जाने पर शिवकुमार ने कहा, ‘‘(मुख्यमंत्री) सिद्धरमैया के नाम में राम है और शिवकुमार में शिव है। आस्था एक निजी मामला है. मैं सभी धर्मों में विश्वास करता हूं. राजनीति में धर्म होना चाहिए लेकिन धर्म में कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए.’’
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