Ranji Trophy 2023: जयदेव उनादकट ने रणजी ट्रॉफी मैच के पहले ही ओवर में हैट्रिक समेत झटके आठ विकेट, दिल्ली 133 पर ढेर

यह मैच नॉकआउट में पहुंचने की राह में खड़ी सौराष्ट्र के लिए महत्वपूर्ण है. तीन मैचों के बाद सौराष्ट्र एक जीत और दो ड्रॉ से मिले 12 अंकों के साथ ग्रुप बी में तीसरे स्थान पर है. मुंबई और महाराष्ट्र पहले दो स्थानों पर विराजमान हैं.

Jaydev Unadkat (Twitter)

बाएं हाथ के तेज गेंदबाज जयदेव उनादकट ने 12 साल बाद टेस्ट क्रिकेट में एक यादगार वापसी के साथ साल 2022 का अंत किया था. अब उन्होंने नए साल की शुरूआत रणजी ट्रॉफी में वापसी पर अपने पहले ही ओवर में हैट्रिक लेकर की. राजकोट में दिल्ली के विरुद्ध चल रहे एलीट ग्रुप बी के मुकाबले में मंगलवार को पहले दिन उनादकट ने यह कारनामा करते हुए अपने करियर का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया. उनादकट के इस प्रदर्शन के बाद सौराष्ट्र ने स्टंप्स तक एक विकेट खोकर 184 रन बना लिए हैं और वह 51 रन की बढ़त के साथ मजबूत स्थिति में आ गया है. यह भी पढ़ें: जयदेव उनादकट का धमाका, पहली ओवर में ली हैट्रिक, दिल्ली आ गई घुटनों के बल

स्टंप्स के समय हार्विक देसाई 104 रन बनाकर सौराष्ट्र को मजबूत स्थिति में पहुंचा चुके हैं. उनके साथ चिराग जानी 44 रन बनाकर क्रीज पर हैं। जय गोहिल 34 रन बनाकर आउट हुए.

सौराष्ट्र के कप्तान उनादकट ने अपने और मैच के पहले ओवर की तीसरी, चौथी और पांचवीं गेंद पर क्रमश: ध्रुव शौरी, आयुष बदोनी और वैभव रावल को चलता किया. यह सब दिल्ली के कप्तान यश ढुल द्वारा टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने के फैसले के बाद हुआ. यह रणजी ट्रॉफी इतिहास में पहले ओवर में ली गई पहली हैट्रिक है. इससे पहले सबसे कम समय में हैट्रिक लेने का कारनामा कर्नाटक के आर विनय कुमार ने किया था.

अपने दूसरे ओवर का अंत होने से पहले उनादकट ने दो और शिकार करते हुए अपने प्रथम श्रेणी करियर में 21वीं बार एक पारी में पांच विकेट लिए. जब उन्होंने ललित यादव को शून्य के स्कोर पर पगबाधा किया तब दिल्ली का स्कोर था - छह विकेट पर मात्र पांच रन और उनादकट के आंकड़े कुछ इस प्रकार थे - 2-0-5-5। अपनी पहली पारी में दिल्ली 133 पर सिमट गई. यह पहला मौका था जब उनादकट ने अपने 98 प्रथम श्रेणी मैचों के करियर में पारी में आठ विकेट निकाले. उनादकट ने 12 ओवर में 39 रन देकर आठ विकेट झटके.

ऋतिक शौकीन ने नाबाद 68 और शिवांक वशिष्ठ ने 38 रन बनाकर दिल्ली को 100 के पार पहुंचाया. वरना दिल्ली के सात विकेट तो मात्र 10 रन के स्कोर पर गिर चुके थे। शौकीन और वशिष्ठ ने नौंवें विकेट के लिए 80 रन की साझेदारी की.

उनादकट के विकेटों में शौरी का विकेट सबसे महत्वपूर्ण था. वह इसलिए क्योंकि तीन राउंड के बाद शौरी इस प्रतियोगिता में सर्वाधिक रन बनाने वाले बल्लेबाज हैं. उन्होंने छह पारियों में 144.75 की औसत और दो शतकों और दो अर्धशतकों की मदद से 579 रन बनाए हैं. इस मैच से बदोनी ने प्रथम श्रेणी क्रिकेट में पदार्पण किया जबकि रावल ने पिछले ह़फ्ते तमिलनाडु के विरुद्ध नाबाद 95 रनों की मैच-बचाऊ पारी खेली थी.

यह मैच नॉकआउट में पहुंचने की राह में खड़ी सौराष्ट्र के लिए महत्वपूर्ण है. तीन मैचों के बाद सौराष्ट्र एक जीत और दो ड्रॉ से मिले 12 अंकों के साथ ग्रुप बी में तीसरे स्थान पर है. मुंबई और महाराष्ट्र पहले दो स्थानों पर विराजमान हैं.

बतौर गेंदबाज और कप्तान उनादकट एक बढ़िया दौर से गुजर रहे हैं. पिछले महीने वह सौराष्ट्र की विजय हजारे ट्रॉफी जीत में सर्वाधिक विकेट लेने वाले गेंदबाज थे. 10 मैचों में 3.33 की इकॉनमी से उनादकट ने 19 विकेट लिए थे. इसके बाद मीरपुर में टेस्ट टीम में वापसी पर उन्होंने अपना पहला टेस्ट विकेट झटका। भारत की जीत में उनादकट ने कुल मिलाकर तीन विकेट अपने नाम किए थे.

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