Eid Al-Fitr 2022: ईद कब है और क्यों मनायी जाती है? जानें ईद का महत्व एवं कैसे करते हैं सेलिब्रेशन?

जैसे-जैसे रमजान का पवित्र माह समाप्ति की ओर अग्रसर हो रहा है. मुस्लिम समुदाय ईद-उल-फितर की तैयारियों में व्यस्त होता जा रहा है. इसे मीठी ईद भी कहते हैं. यह ईद एक माह से चले आ रहे रोजा की समाप्ति का प्रतीक होता है, यही वजह है कि इसे रोजा तोड़ने के पर्व के रूप में भी जाना जाता है.

ईद मुबारक 2021 (Photo Credits: File Image)

जैसे-जैसे रमजान का पवित्र माह समाप्ति की ओर अग्रसर हो रहा है. मुस्लिम समुदाय ईद-उल-फितर की तैयारियों में व्यस्त होता जा रहा है. इसे मीठी ईद भी कहते हैं. यह ईद एक माह से चले आ रहे रोजा की समाप्ति का प्रतीक होता है, यही वजह है कि इसे रोजा तोड़ने के पर्व के रूप में भी जाना जाता है. विशेषज्ञों के अनुसार, ईद का पर्व ग्रेगोरियन दिवस के आधार पर तय नहीं किया जा सकता, क्योंकि किसी भी चंद्र हिजरी महीने की शुरुआत स्थानीय धार्मिक अधिकारियों के आधार पर भिन्न होती है. यही वजह है की प्रत्येक वर्ष ईद की तारीख अलग-अलग होती है.

कब है रमजान ईद?

पवित्र मास रमजान के अनुसार माना जा रहा है कि इस बार 2 मई 2022 को ईद का त्यौहार मनाया जाएगा, क्योंकि ईद रोजा के खत्म होने के रूप में मनाया जाता है. इस्लामिक कैलेंडर के अनुसार रमजान के 10वें शव्वाल की पहली तारीख को ईद मनाई जाती है. हालांकि, ईद का दिन चांद देखने के बाद ही इस पर्व की तिथि निर्धारित की जाती है. रमजान की शुरुआत भी चांद के दीदार के बाद ही होती है. इसे ईद-उल-फ़ित्र अथवा मीठी ईद के नाम से भी जाना जाता है. इस्लाम धर्म के अनुसार ईद-उल-फितर मुस्लिम समुदाय का सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण पर्व है.

क्यों मनाई जाती है ईद?

गौरतलब है कि साल में दो बार ईद का पर्व मनाया जाता है. पहली ईद को ईद उल-फ़ित्र कहते हैं और दूसरी ईद को ईद-उल-जुहा अथवा बकरीद के नाम से मनाया जाता है. इस्लामिक मान्यताओं के अनुसार साल 624 में पैगम्बर हजरत मुहम्मद ने जंग-ए-बद्र की लड़ाई जीती थी. इसी जीत की खुशी में सबका मुंह मीठा करवाया गया था. इसलिए पाक रमजान के पूरे माह अल्लाह की इबादत करते हैं और रोजा रखते हैं. इस पूरे माह कुरान की तिलावत करके अपनी आत्मा को शुद्ध करते हैं. और रमजान खत्म होने के बाद पूरी दुनिया में मुसलमान बड़े हर्षोल्लास के साथ ईद-उल-फितर मनाते हैं.

ईद उल फितर का महात्म्य!

ईद-उल-फ़ित्र का पर्व भाई-चारे एवं आपसी सद्भाव का त्यौहार है. इस दिन सभी लोग एक-दूसरे से गले मिल कर अथवा उपहार भेंट कर ईद मुबारक करते हैं. रमजान के माह में रोजे की समाप्ति के बाद ईद के दिन अल्लाह का शुक्रिया अदा करते हैं कि अल्लाह ने उन्हें पूरे माह उपवास रखने की शक्ति एवं संयम प्रदान किया. इस पवित्र दिन सुबह की नमाज मस्जिदों में अदा की जाती है. इस वर्ष ईद का महत्व इसलिए भी बढ़ेगा क्योंकि पिछले दो साल लोगों ने कोरोना के कारण घर में रहकर ईद की नमाज अदा की, लेकिन इस बार कोरोना से थोड़ी राहत मिलने के कारण लोग मस्जिदों में जाकर नमाज पढ़ेंगे और अल्लाह की इबादत करेंगे. इसके साथ ही इस दिन गरीबों को जकात (दान) देकर ही ईद की सच्ची खुशियां प्राप्त होती हैं.

ऐसे करते हैं ईद का सेलिब्रेशन!

इस्लाम धर्म में ईद-उल-फित्र का त्यौहार बहुत खास होता है. इस दिन घरों में तमाम किस्म के मीठे व्यंजन बनाए जाते हैं, जिसमें किस्म-किस्म की सेवइयां भी बनाई जाती हैं. मीठी सेवइयां घर आए मेहमानों को खिलाई जाती हैं और रिश्तेदारों आदि में बांटी जाती है. ईद उल-फ़ित्र का त्योहार भाईचारे का संदेश देता है.

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