क्या जम्मू-कश्मीर में अल्पसंख्यक मुख्यमंत्री को स्वीकार करेंगी महबूबा मुफ्ती: भाजपा का पलटवार

भारतीय मूल के ऋषि सुनक के ब्रिटिश प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद भारत में अल्पसंख्यक समुदाय के हितों और बहुसंख्यकवाद को लेकर नया राजनीतिक विवाद खड़ा हो गया है.

महबूबा मुफ्ती (Photo Credit : Twitter)

नई दिल्ली, 25 अक्टूबर : भारतीय मूल के ऋषि सुनक के ब्रिटिश प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद भारत में अल्पसंख्यक समुदाय के हितों और बहुसंख्यकवाद को लेकर नया राजनीतिक विवाद खड़ा हो गया है. जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती से लेकर कांग्रेस नेताओं ने ऋषि सुनक के बहाने भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि क्या भारत में यह संभव है? जवाब में पलटवार करते हुए एक तरफ जहां भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने महबूबा मुफ्ती पर निशाना साधते हुए उनसे यह पूछा कि क्या वो जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री के रूप में अल्पसंख्यक को स्वीकार करेंगी? तो वहीं दूसरी तरफ उन्होंने सवाल उठाने वाले कांग्रेस समेत विपक्षी नेताओं को पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम से लेकर वर्तमान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू तक की याद दिलाई.

दरअसल, महबूबा मुफ्ती ने भारतीय मूल के व्यक्ति के यूके में प्रधानमंत्री बनने पर प्रतिक्रिया देते हुए ट्वीट कर कहा था कि यह याद रखने योग्य बात है कि एक तरफ जहां यूके ने एक अल्पसंख्यक को अपने प्रधानमंत्री के रूप में स्वीकार किया है, दूसरी तरफ हम एनआरसी और सीएए जैसे विभाजनकारी और भेदभावपूर्ण कानूनों से बंधे हैं. यह भी पढ़ें : Coimbatore Car Blast: पांच गिरफ्तार, एनआईए कर सकती है जांच

महबूबा मुफ्ती के आरोपों का जवाब देने के लिए भाजपा ने अपने पूर्व कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद को आगे किया. प्रसाद ने ट्वीट के जरिए ही जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री पर पलटवार करते हुए पूछा, ऋषि सुनक के यूके के पीएम के रूप में चुने जाने के बाद भारत में अल्पसंख्यकों के अधिकारों पर टिप्पणी करते हुए महबूबा मुफ्ती का ट्वीट देखा. महबूबा मुफ्ती जी! क्या आप जम्मू कश्मीर में अल्पसंख्यक को राज्य के मुख्यमंत्री के रूप में स्वीकार करेंगी?

प्रसाद ने महबूबा मुफ्ती से इस सवाल का स्पष्ट जवाब देने की भी मांग की. कांग्रेस नेताओं के हमले पर पलटवार करते हुए रविशंकर प्रसाद ने अपने अगले ट्वीट में कहा कि ब्रिटेन के पीएम के रूप में ऋषि सुनक के चुनाव के बाद कुछ नेता बहुसंख्यकवाद के खिलाफ अति सक्रिय हो गए हैं. उन्हें देश के असाधारण राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम और मनमोहन सिंह के 10 वर्ष के प्रधानमंत्री कार्यकाल की याद दिलाना चाहूंगा. वर्तमान में एक प्रतिष्ठित आदिवासी नेता द्रौपदी मुर्मू हमारी राष्ट्रपति हैं.

प्रसाद ने विपक्षी दलों के रवैये पर सीधा निशाना साधते हुए कहा कि भारतीय मूल के एक काबिल नेता ऋषि सुनक ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बन रहे हैं. इस असाधारण सफलता के लिए हम सभी को उनकी तारीफ करने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि यह दुखद है कि कुछ भारतीय नेता दुर्भाग्य से इस अवसर पर राजनीतिक ब्राउनी पॉइंट बनाने की कोशिश कर रहे हैं.

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