Uttarkashi Tunnel Accident Update: अधिकारियों ने कहा, मजदूरों को खाने में रोटी, सब्जी और पुलाव भेजे गए

सिलक्यारा सुरंग हादसे के 10वें दिन मंगलवार को एनएचआईडीसीएल सुरंग परियोजना निदेशक अंशु मनीष खलको ने बताया कि 6 इंच के पाइप को पूरी तरह साफ कर लिया गया और उसके जरिए मजदूरों के लिए संतरा, केला, मौसम्बी और कुछ दवाइयां भेजी गई हैं. पिछले चार-पांच दिन से वे लोग नमक की मांग कर रहे थे.

Uttarkashi Silkyara Tunnel Visuals (Photo Credit: PTI)

उत्तरकाशी, 22 नवंबर: सिलक्यारा सुरंग हादसे के 10वें दिन मंगलवार को एनएचआईडीसीएल सुरंग परियोजना निदेशक अंशु मनीष खलको ने बताया कि 6 इंच के पाइप को पूरी तरह साफ कर लिया गया और उसके जरिए मजदूरों के लिए संतरा, केला, मौसम्बी और कुछ दवाइयां भेजी गई हैं. पिछले चार-पांच दिन से वे लोग नमक की मांग कर रहे थे. नमक भी भेज दिया गया और रात के खाने के लिए रोटी, सब्जी व पुलाव भेजे गए हैं.

सुरंग में फंसे 41 मजदूरों के लिए बचाव अभियान जारी है. केंद्र और राज्य की 6 एजेंसिंयां लगातार काम कर रही हैं. इन एजेंसियों के बीच समन्वय स्थापित करने के लिए उत्तराखंड के आईएएस नीरज खैरवाल को नोडल अधिकारी बनाया गया है. उत्तरकाशी सुरंग हादसे पर अपर सचिव, सड़क एवं परिवहन महमूद अहमद और एनएचआईडीसीएल सुरंग परियोजना निदेशक खलको ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर मीडिया को ताजा जानकारी दी. यह भी पढ़ें : Uttarkashi Tunnel Rescue: सुरंग के मुख्य द्वार पर बने मंदिर में फंसे हुए श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए की जा रही है प्रार्थना -Video

उन्‍होंने कहा कि एनएचआईडीसीएल ने सबसे पहले ऑक्सीजन आपूर्ति, भोजन, पानी और दवा की सुविधा को सुनिश्चित किया है. अंदर रोशनी और बिजली की आपूर्ति हो रही है. सुरंग के अंदर 2 किलोमीटर तक की जगह है. उन्हें 4 इंच की पाइपलाइन से सूखे मेवे और खाने की अन्य चीजें भेजी जा रही थीं. लेकिन अब 6 इंच की पाइपलाइन के जरिए एक वॉकी-टॉकी भेजकर उनसे संचार स्थापित किया गया है.

अधिकारियों ने कहा, "हमें एक वीडियो भी मिला है, जिसमें सभी मजदूर मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ नजर आ रहे हैं. हमने कई एजेंसियों को इकट्ठा किया है और उनके साथ समन्वय कर रहे हैं. प्रत्येक एजेंसी को एक विशिष्ट कार्य सौंपा गया है. हमारी टीम हर चीज की निगरानी कर रही है, ताकि सभी एजेंसियों के बीच समन्वय बना रहे. हम सेना, बीआरओ और अन्य एजेंसियों से हर संभव योगदान ले रहे हैं. जिला प्रशासन हमारा सहयोग कर रहा है. एनडीआरएफ और एसडीआरएफ भी काम कर रहे हैं."

दीपावली के दिन यानी 12 नवंबर की सुबह सुरंग में ऊपर से अचानक मलबा गिर गया, जिससे 4 किमी लंबी निर्माणाधीन सुरंग के दूसरे हिस्से में नाइट शिफ्ट में काम कर रहे 41 मजदूर फंस गए. मलबा हटाकर उन्हें निकालने का प्रयास किया जा रहा है. मजदूरों के निकालने के लिए 10 दिनों से रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. सुरंग के विशेषज्ञ अर्नोल्ड डिक्स को भी बुलाया गया है, जो अपनी टीम के साथ रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटे हुए हैं, लेकिन अभी तक कोई सफलता नहीं मिली है.

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