राहुल गांधी ने चेन्नई छात्राओं को किया संबोधित, कहा- नकारात्मक माहौल में आप आर्थिक वृद्धि की उम्मीद नहीं कर सकते
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने बुधवार को कहा कि आर्थिक वृद्धि सीधे-सीधे देश के मिजाज से जुड़ी है और नकारात्मक व डर के माहौल में आप इसकी उम्मीद नहीं कर सकते.
चेन्नई: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने बुधवार को कहा कि आर्थिक वृद्धि सीधे-सीधे देश के मिजाज से जुड़ी है और नकारात्मक व डर के माहौल में आप इसकी उम्मीद नहीं कर सकते.
एक कॉलेज में यहां छात्राओं को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि कांग्रेस देश के मिजाज को बदल देगी और लोगों को खुश एवं सशक्त महसूस कराएगी. कांग्रेस अध्यक्ष ने छात्राओं से कहा कि वे उन्हें राहुल कहकर पुकारें. अपने जीजा रॉबर्ट वाड्रा पर पूछे गए सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि कानून सभी पर समान रूप से लागू होना चाहिए और न कि चुनिंदा तरीके से.
छात्रों के साथ अनौपचारिक बातचीत में उन्होंने राफेल सौदे का मुद्दा भी उठाया और विमान की कीमतों एवं खरीद प्रक्रिया को लेकर अपने आरोप दोहराए. गांधी ने कहा, “मैं यह कहने वाला पहला शख्स होउंगा... रॉबर्ट वाड्रा की जांच करें लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भी जांच करें.” एक सवाल के जवाब में राहुल ने आरोप लगाए कि मोदी एक ‘‘भ्रष्ट’’ व्यक्ति हैं, उन्होंने बातचीत की अनदेखी की और राफेल सौदे में समानांतर बातचीत की.
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि प्रधानमंत्री में मीडिया का सामना करने का साहस होना चाहिए और पूछा कि मोदी क्यों “छिप रहे हैं.” उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा का इरादा देश के सभी संस्थानों पर कब्जा कर लेना और उन्हें संघ के मुख्यालय, नागपुर से संचालित करना है. गांधी ने कहा कि कांग्रेस सत्ता में आएगी तो महिला आरक्षण विधेयक पारित करेगी. इस बयान पर उत्साह में आई भीड़ के समक्ष उन्होंने कहा, “नेतृत्व वाली जगहों पर पर्याप्त महिलाएं नहीं दिखती हैं. आप सत्ता में महिलाओं को तब तक नहीं देख सकते जब तक कि उनके प्रति नजरिए में बदलाव नहीं आता.”
उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि उन्हें अपनी मां सोनिया गांधी से प्रेम एवं विनम्रता की सीख मिली है. गांधी ने छात्राओं से पूछा, “क्या आपको नोटबंदी पसंद आई? जब छात्राओं ने ‘न’ में जवाब दिया तो उन्होंने कहा, “मुझे लगता है कि नोटबंदी ने जो नुकसान किया है, वह काफी साफ है. प्रधानमंत्री को आपसे सलाह लेनी चाहिए थी.” गांधी ने छात्राओं से कहा कि वे उन्हें चुनौती दें और “असहज करके दिखाएं.” साथ ही उन्होंने पूछा कि क्या प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इतनी बड़ी भीड़ के बीच खड़े होकर लोगों के सवालों का जवाब दे सकते हैं.
जम्मू कश्मीर में मोदी की नीतियों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि इनसे जम्मू कश्मीर जल रहा है. उन्होंने केंद्र पर आतंकवाद को रणनीतिक और व्यवस्थित तरीके से नहीं संभालने का आरोप लगाया. जैसे ही मोदी ने सत्ता संभाली उन्होंने सिर्फ सत्ता पाने के लिये राज्य में पीडीपी के साथ गठबंधन बनाने की ‘‘बड़ी गलती’’ की. उन्होंने कहा, ‘‘आज नरेंद्र मोदी जी की नीतियां ही वास्तव में कश्मीर को झुलसा रही हैं.’’ उन्होंने आरोप लगाया कि यह उनकी नीतियों की वजह से ही पाकिस्तान भारत के खिलाफ आतंकी कृत्यों को अंजाम दे रहा है.
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की नीतियां लोगों को दूर कर रही हैं ऐसे में आप ऐसे संकेतों के साथ आतंकवाद से नहीं लड़ सकते. पड़ोसी देश को आतंकी हमले करने से रोकने और अपने लोगों को बचाने की ‘अपनी जिम्मेदारी’ का जिक्र करते हुए गांधी ने कहा, ‘‘यह कहना सही नहीं है कि 45 सीआरपीएफ जवान शहीद हो गए और अब हम कुछ करेंगे.’’ उन्होंने यह जानना चाहा कि पहली बात हमला (पुलवामा में) रोका क्यों नहीं गया.
कांग्रेस द्वारा जम्मू कश्मीर में व्यवस्थित और रणनीतिक रुख अपनाए जाने का दावा करते हुए उन्होंने कहा कि राजग सरकार ने वह नीति नहीं अपनाई. उन्होंने कहा, ‘‘हमने वास्तव में आतंकवाद को कुचला’’ और संप्रग के दौर में जवानों और नागरिकों की मौत में ‘‘काफी गिरावट’’ आई थी.