दिल्ली उच्च न्यायालय (Delhi High Court) में शुक्रवार को एक याचिका दायर की गई है जिसमें दिल्ली एंव जिला क्रिकेट संघ (Delhi and District Cricket Association) की मौजूदा स्थिति को लेकर 17 नवंबर को लोकपाल द्वारा दिए गए आदेश को लागू करने के संबंध में अदालत से दखल देने का अनुरोध किया गया है. इस याचिका में कहा गया है कि अदालत आदेश को लेकर प्रतिक्रिया देने वालों को रोकने के निर्देश दे.
यह मामला न्यायाधीश नवीन चावला के सामने था, जिन्होंने इसे सुनने से मना कर दिया इसलिए अब यह मामला न्यायाधीश जयंत नाथ के सामने रखा गया है. डीडीसीए के लोकपाल बादर दुरेज (सेवानिवृत) ने रविवार को संघ के अध्यक्ष रजत शर्मा का इस्तीफा मंजूर करने से इनकार कर दिया था और सचिव विनोद तिहारा को भी पद से हटाने से मना कर दिया था.
लोकपाल ने अपने आदेश में कहा था कि डीडीसीए की शीर्ष परिषद इस मामले में किसी तरह का आदेश नहीं दे सकती और इसलिए 'इस्तीफा ठंडे बस्ते में रहेगा.' इस मामले पर सुनवाई 27 नवंबर को होग. लोकपाल ने अपने आदेश में कहा था, "जिन लोगों ने इस्तीफा दिया है, वह खेल के हित को ध्यान में रखते हुए अपना काम जारी रखेंगे.
लोकपाल की इजाजत और बिना किसी सही प्रक्रिया के बिना शीर्ष परिषद इस मामले में किसी तरह का प्रस्ताव पास नहीं कर सकती." पिछले शनिवार को डीडीसीए ने ट्वीट कर जानकारी दी थी कि अध्यक्ष रजत शर्मा ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है.