राज्यसभा में मोदी सरकार पर बरसे कांग्रेस नेता आनंद शर्मा, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण को बताया होपलेस
आनंद शर्मा और पीएम मोदी (Photo Credits: PTI)

नई दिल्ली: संसद (Parliament) का मानसून सत्र (Monsoon Session) शुरू हो चुका है. दोनों सदनों में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा आज भी जारी रही. इस चर्चा के बाद दोनों सदनो में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) जवाब देंगे. वहीं लोकसभा में प्रश्न काल खत्म होने के बाद कई मुद्दों पर स्थगन प्रस्ताव दिया गया लेकिन स्पीकर ओम बिड़ना ने प्रस्ताव को मंजूर नहीं दी. इस बीच राज्यसभा में कांग्रेस सांसद आनंद शर्मा (Anand Sharma) ने बीजेपी को जीत की बधाई देने के साथ ही मोदी सरकार पर जमकर कटाक्ष किया.

धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान आनंद शर्मा ने सबसे पहले पीएम मोदी को बधाई दी. उन्होंने कहा मोदीजी के इस कार्यकाल में हमें नए अध्याय लिखे जाने की आशा है. तंज कसते हुए शर्मा ने आगे कहा कि पिछले पांच साल मोदी सरकार की कथनी और करनी में बड़ा अंतर रहा है और इसे प्रधानमंत्री ही दूर कर सकते हैं.

कांग्रेस नेता ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के भाषण को मायूस करनेवाला करार दिया. उन्होंने कहा राष्ट्रपति जी का अभिभाषण निराशाजनक है लेकिन उनकी यह मजबूरी है. उन्होंने पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि हमारे प्रधानमंत्री को नए शब्दों का शौक है और इस बार शायद कई और नए शब्द बनेंगे. 2014 में पहली बार हिन्दुस्तान जागा, 2014 में ही हिन्दुस्तान का सफर शुरू हुआ, यह बात राष्ट्रपति के अभिभाषण में भी डाल दी गई.

उन्होंने संसद के संयुक्त सत्र में दिए गए राष्ट्रपति के अभिभाषण को जमीनी हकीकत से दूर बताया. उन्होंने कहा हम सभी ने आपको जीत की बधाई दी और जीत-हार लोकतंत्र का हिस्सा है. शर्मा ने आगे कहा कि विपक्ष अपनी सकारात्मक भूमिका निभाएगा और देश की जनता उम्मीद करती है कि देश का विपक्ष सदा मजबूत रहे.

गौरतलब हो कि संसद के मौजूदा सत्र के दौरान कई अहम बिल पेश किए जाने वाले है. इस सप्ताह जम्मू कश्मीर से संबंधित दो महत्वपूर्ण प्रस्ताव पर चर्चा होगी जिसमें से एक जम्मू कश्मीर में राष्ट्रपति द्वारा लगाये गए अनुच्छेद 356 को जारी रखने का प्रस्ताव है जबकि दूसरा जम्मू कश्मीर आरक्षण संशोधन विधेयक 2019 है. संसद के दोनों सदनों में तीन तलाक पर रोक का प्रावधान करने वाले मुस्लिम महिला विवाद अधिकार संरक्षण विधेयक पर चर्चा होगी जो संसद से पारित होने के बाद अध्यादेश का स्थान लेगा.

दोनों सदनों में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा पीएम मोदी के जवाब के साथ खत्म होगी. 17वीं लोकसभा के गठन के बाद बुलाये गए संसद के पहले सत्र के दौरान 40 विधेयकों पर चर्चा एवं उन्हें पारित कराये जाने के लिये लाने की योजना है.