वित्त वर्ष 2024 में बढ़ी नौकरियां, 4.67 करोड़ अतिरिक्त रोजगार का हुआ सृजन, जारी रहेगा ट्रेंड
GAIL India Recruitment 2024

नई दिल्ली, 3 जनवरी : मार्च 2024 को खत्म वित्त वर्ष में भारतीय अर्थव्यवस्था में 4.67 करोड़ अतिरिक्त रोजगार सृजित हुए. आधिकारिक आंकड़ों की मानें तो वित्त वर्ष 2024-25 में रोजगार सृजन की रफ्तार बरकार रही. ये आंकड़े बताते हैं कि औपचारिक और अनौपचारिक दोनों क्षेत्रों में रोजगार सृजन की रफ्तार जारी रही. सांख्यिकी मंत्रालय द्वारा जारी वार्षिक सर्वेक्षण के अनुसार, अक्टूबर 2023 से सितंबर 2024 के दौरान भारत के असंगठित क्षेत्र में कुल अनुमानित रोजगार में पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में 10.01 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई.

असंगठित क्षेत्र उद्यमों के वार्षिक सर्वेक्षण से पता चलता है कि कवर किए गए व्यापक क्षेत्रों (ब्रॉड सेक्टर) में, "अन्य सेवाओं (अदर सर्विस)" में प्रतिष्ठानों ने अक्टूबर 2023 और सितंबर 2024 के बीच 12 करोड़ से अधिक अतिरिक्त श्रमिकों को रोजगार दिया. यह 2022-23 से एक करोड़ से अधिक श्रमिकों की वृद्धि और मजबूत श्रम बाजार वृद्धि को दर्शाता है. यह भी पढ़ें : Mahakumbh 2025: ड्राई फ्रूट्स कारोबारी खुश, बोले ‘खूब बिकेगा आने वाले दिनों में और बढ़ेगी मांग’

व्यापक गतिविधियों में, "अन्य सेवा" क्षेत्र ने 17.86 प्रतिशत की उच्चतम वार्षिक वृद्धि दिखाई, इसके बाद विनिर्माण क्षेत्र में 10.03 प्रतिशत की वृद्धि हुई. असंगठित गैर-कृषि क्षेत्र भारतीय अर्थव्यवस्था में रोजगार, सकल घरेलू उत्पाद और सामाजिक-आर्थिक परिदृश्य में महत्वपूर्ण योगदान देता है. यह क्षेत्र न केवल लाखों लोगों की आजीविका को बनाए रखता है, बल्कि घरेलू मूल्य श्रृंखला (डोमेस्टिक वैल्यू चेन) में अपनी भूमिका को मजबूत करते हुए वस्तुओं और सेवाओं की सप्लाई करता है.

इसी तरह, औपचारिक क्षेत्र में वृद्धि जारी रही है. यह क्षेत्र में बेहतर गुणवत्ता वाली नौकरियां प्रदान करता है. नवंबर में जारी आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही के दौरान तीन सामाजिक सुरक्षा योजनाओं में नए सदस्यों की संख्या में पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में वृद्धि हुई है. कर्मचारी भविष्य निधि योजना में नए एनरोलमेंट, जो बड़े संगठनों और बेहतर वेतन वाले कर्मचारियों पर लागू होते हैं, पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 2024-25 की पहली छमाही (अप्रैल-सितंबर) में 2.3 प्रतिशत बढ़कर 6.1 मिलियन हो गए.

कर्मचारी राज्य बीमा निगम में नए सदस्य, जो छोटे संगठनों पर लागू होते हैं, चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही के दौरान 9.3 मिलियन सदस्यों की वृद्धि के साथ 5.2 प्रतिशत की तेज गति से बढ़े. इसी तरह, राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली में सदस्य संख्या में भी 6.8 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जो बेहतर नौकरी में आने वाले कर्मचारियों की बढ़ती संख्या को दर्शाती है. नौकरियों की गुणवत्ता में यह सुधार वित्त मंत्रालय द्वारा अर्थव्यवस्था की नवीनतम मासिक समीक्षा में भी देखा गया है.