जयपुर: पेट्रोल और डीजल के लगातार बढ़ते दामों से देश की जनता बेहाल है. इस मुद्दे पर विपक्ष लगातार केंद्र सरकार पर हमलावर है और दूसरी ओर जनता के बीच सरकार के प्रति गहरा रोष है.ऐसे में केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता राज्यमंत्री रामदास आठवले के एक बयान ने नाराजगी की इस आग को और हवा दी है. केन्द्रीय मंत्री ने शनिवार को जयपुर में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि "पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों से उन्हें कोई परेशानी नहीं हैं क्योंकि वह एक मंत्री हैं. अगर मैं अपना मंत्रिस्तरीय पद खो देता हूं तो मुझ पर बढ़ती तेल कीमतों का प्रभाव पड़ सकता है."
उन्होंने कहा कि '' पेट्रोल और डीजल की कीमत क्या है, इससे क्या फर्क पड़ता है. सरकार मेरी गाड़ियों में डीजल और पेट्रोल भरवाती है. सरकारी पैसे पर पेट्रोल और डीजल जब आता है तो इस बारे में क्या सोचना.'' बता दें कि रामदास आठवले अक्सर अपने विवादस्पद बयानों को लेकर चर्चा का विषय बनें रहते हैं.
I'm not suffering from rising fuel prices as I am a minister. I may suffer if I lose my ministerial post. It's understandable that people are suffering from rising fuel prices & it's the duty of the govt to reduce them: Union Minister Ramdas Athawale in Jaipur #Rajasthan. (15.09) pic.twitter.com/H4F7e7Zhqt
— ANI (@ANI) September 15, 2018
हालांकि इस बयान के बाद आठवले ने केंद्र सरकार का बचाव करते हुए कहा कि सरकार तेल की कीमतों पर लगाम लगाने का प्रयास कर रही है. केन्द्रीय मंत्री ने साथ ही सभी राज्यों को भी नसीहत दी कि वे भी तेल की कीमतों को काबू करने में सरकार की मदद करें. यह भी पढ़ें- पेट्रोल और डीजल के दामों पर बीजेपी सांसद ने अपनी ही सरकार को घेरा, कहा- दामों को इतना न बढाएं कि जनता विद्रोह पर उतर आए
उन्होंने कहा अगर पेट्रोल डीजल के भाव कम करने हैं तो राज्यों को भी इसके लिए कोशिश करनी चाहिए क्योंकि इन कीमतों में केंद्र के टैक्स के साथ-साथ राज्य सरकार के भी टैक्स होते हैं.