Delhi: कोरोना के बढ़ते प्रकोप के बीच बढ़ सकती है सख्ती, स्कूलों में फिर लग सकते हैं ताले

राजधानी दिल्ली में कोरोना के मामलों में इन दिनों बड़ा उछाल दिख रहा है. राजधानी में एक ओर जहां Omicron के मामले बढ़ रहे हैं वहीं कोरोना के दैनिक मामले भी चिंता बढ़ा रहे हैं. अगर कोरोना के केस इसी तरह बढ़ते रहे तो राजधानी में कई नए प्रतिबंध लग सकते हैं.

प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits PTI)

दिल्ली: राजधानी दिल्ली (Delhi) में कोरोना (COVID-19) के मामलों में इन दिनों बड़ा उछाल दिख रहा है. राजधानी में एक ओर जहां Omicron के मामले बढ़ रहे हैं वहीं कोरोना के दैनिक मामले भी चिंता बढ़ा रहे हैं. अगर कोरोना के केस इसी तरह बढ़ते रहे तो राजधानी में कई नए प्रतिबंध लग सकते हैं. कोरोना के मामले बढ़ने पर स्कूल भी बंद किए जा सकते हैं. Omicron से बचने के लिए कैसे मास्क का करें इस्तेमाल? क्या है सही तरीका- यहां जानें.

राजधानी में नाइट कर्फ्यू, स्कूलों और कॉलेजों तथा गैर-जरूरी सामानों की दुकानों को बंद करने और मेट्रो ट्रेनों में बैठने की क्षमता आधी होने की आशंका है. दरअसल दिल्ली में कोरोना वायरस संक्रमण की दर 0.43 प्रतिशत तक पहुंच गई है जो चरणबद्ध प्रकिया कार्य योजना (जीआरएपी) के तहत येलो अलर्ट शुरू होने के लिये 0.5 प्रतिशत से कुछ ही पीछे है.

दिल्ली में कोरोना वायरस संक्रमण दर शनिवार को 0.43 प्रतिशत पर पहुंच गई और राजधानी में 249 मामले सामने आये, जो 13 जून के बाद से सबसे अधिक है। संक्रमण दर भी 9 जून के बाद से सबसे अधिक है, जब यह 0.46 प्रतिशत थी.

चार स्तरीय जीआरएपी के तहत, संक्रमण दर जब 0.5 फीसदी होती है तो अगले दो दिन के लिये ‘येलो’ अलर्ट शुरू हो जाता है और कई तरह के प्रतिबंध लगा दिये जाते हैं. ऐसे में यदि संक्रमण के मामले काबू में नहीं आते हैं तो जल्‍दी ही स्‍कूलों पर फिर ताले लग सकते हैं साथ ही कई अन्य प्रतिबंध भी राजधानी में लगाए जा सकते हैं.

येलो अलर्ट के दौरान 10 बजे रात से पांच बजे सुबह तक कर्फ्यू लगाने का प्रावधान है. जबकि रेड अलर्ट के दौरान पूरा कर्फ्यू लगाया जाता है.

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