नई दिल्ली: कांग्रेस पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) दो दिन पहले केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए कहा था कि वह पीएम केयर्स फंड का इस्तेमाल कर कोविड-19 के रोगियों के लिए घटिया वेंटिलेटर खरीद रही है. उन्होंने अपने बयान में कहा कि पीएम केयर्स में अपारदर्शिता से भारतीयों का जीवन खतरे में पड़ता जा रहा है और सार्वजनिक धन का इस्तेमाल घटिया सामग्री खरीदने में हो रहा है. राहुल गांधी के उस आरोप के बाद अग्वा (AgVa) वेंटिलेटर के सह-संस्थापक प्रोफेसर दिवाकर वैश (Professor Diwakar Vaish) ने स्पष्टीकरण देते हुए जवाब दिया है.
वैश ने राहुल गांधी के आरोपों का जवाब देते हुए कहा कि वो डॉक्टर नहीं हैं, वो एक बुद्धिमान व्यक्ति हैं. उन्हें किसी कंपनी के खिलाफ आरोप लगाने से पहले सारी चीजें समझनी चाहिए थी. इसके लिए उन्हें डॉक्टरों से परामर्श भी लेना चाहिए. इसके बाद आरोप लगाना चाहिए था. क्योंकि वे डॉक्टर तो हैं नहीं, जो उन्हें वेंटिलेटर की जांच करना आता हो. वैश ने ये भी कहा कि वो किसी अस्पताल में मरीज पर उन्हें पूरा डेमो दिखाने के लिए वे तैयार हैं. यह भी पढ़े: राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर फिर बोला हमला, कहा- प्रधानमंत्री ने किया सरेंडर, कोरोना को हराने की कोई योजना नहीं
Rahul Gandhi not a doctor, willing to give him a demo: AgVa rejects allegations of faulty ventilators
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— ANI Digital (@ani_digital) July 7, 2020
गौरतलब हो कि पांच जुलाई को राहुल गांधी ने एक ट्वीट कर मोदी सरकार पर लोगों की 'जिंदगी को खतरे में डालने' और पब्लिक मनी का इस्तेमाल खराब क्वॉलिटी के प्रोडक्ट पर करने का आरोप लगाया था. राहुल ने एक न्यूज रिपोर्ट को रीट्वीट करके ये आरोप लगाए थे. वहीं राहुल गांधी के इस आरोप को लेकर अब तक सरकार की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है.