छह से 12 घंटे तक ATM से दोबारा पैसे निकालने पर लग सकती है रोक? जानें क्यों

एटीएम फ्रॉड की खबरें आए दिन देखने-सुनने को मिलती हैं. दरअसल, पिछले कुछ सालों में एटीएम फ्रॉड की घटनाएं लगातार बढ़ी हैं. इस बीच, एटीएम फ्रॉड पर लगाम लगाने के लिए दिल्ली स्टेट लेवल बैंकर्स कमिटी (एसएलबीसी) ने कुछ उपाय सुझाए हैं. दरअसल, कमिटी ने दो एटीएम ट्रांजैक्शन के बीच में 6 से 12 घंटे का समय रखने का सुझाव दिया है.

प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: Pixabay)

एटीएम (ATM) फ्रॉड की खबरें आए दिन देखने-सुनने को मिलती हैं. दरअसल, पिछले कुछ सालों में एटीएम फ्रॉड (ATM Fraud) की घटनाएं लगातार बढ़ी हैं. इस बीच, एटीएम फ्रॉड पर लगाम लगाने के लिए दिल्ली स्टेट लेवल बैंकर्स कमिटी (SLBC) ने कुछ उपाय सुझाए हैं. दरअसल, दिल्ली एसएलबीसी ने दो एटीएम ट्रांजैक्शन के बीच में 6 से 12 घंटे का समय रखने का सुझाव दिया है. हालांकि यह सुझाव शुरुआती स्तर का है लेकिन अगर इस प्रस्ताव को मान लिया जाता है तो लोगों पर इसका सीधा असर होगा. बता दें कि इस योजना पर पिछले हफ्ते 18 बैंकों के प्रतिनिधियों की बैठक में चर्चा हुई.

दिल्ली एसएलबीसी संयोजक और ओरियंटल बैंक ऑफ कॉमर्स के एमडी और सीईओ मुकेश कुमार जैन ने कहा कि एटीएम से जुड़े अधिकतर फ्रॉड रात के समय यानी आधी रात से लेकर तड़के सुबह तक होती है. उन्होंने कहा कि ऐसे में एटीएम से लेनदेन पर एक खाका खींचना मददगार साबित हो सकता है. उन्होंने कहा कि बैंकर्स ने अन्य सुझाव भी दिए हैं जिनमें अनधिकृत रूप से पैसे निकालने की कोशिश करने पर खाताधारकों को अलर्ट करने के लिए ओटीपी भेजी जाए. यह सिस्टम क्रेडिट या डेबिट कार्ड द्वारा होने वाले ऑनलाइन ट्रांजैक्शन के ही समान होगा. यह भी पढ़ें- SBI ग्राहकों के लिए आई बड़ी खबर, जल्द ही किसी काम का नहीं रहेगा आपका ATM कार्ड!

साल 2018-19 के दौरान महाराष्ट्र में 233 एटीएम फ्रॉड केस दर्ज किए गए. वहीं, दिल्ली में एटीएम फ्रॉड के 179 केस दर्ज हुए. साल 2018-19 में देशभर में फ्रॉड के मामले बढ़कर 980 हो गए, इससे पहले साल इन मामलों की संख्या 911 थी.

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