MeToo में फंसे आलोकनाथ के खिलाफ नहीं मिले पर्याप्त सबूत, मुंबई पुलिस कर सकती हैं केस क्लोज
आलोकनाथ के खिलाफ एक टीवी स्क्रीन राइटर ने पिछले साल बलात्कार का आरोप लगाते हुए मुंबई पुलिस में अपनी शिकायत दर्ज कराई थी. इस मामले के चलते आलोकनाथ को काफी मुसीबतों का सामना करना पड़ा था. अब खबर आई है कि मुंबई पुलिस को उनके खिलाफ पर्याप्त सबूत नहीं मिल पाए हैं और ऐसे में वो इस केस को बंद कर सकती है.
मी टू (Me Too) के आरोप में फंसे आलोकनाथ (Alok Nath) के लिए ये खबर बेहद अहम है. एक टीवी स्क्रीन राइटर ने पिछले साल उनके खिलाफ बलात्कार (rape) का केस दर्ज कराया था. इस मामले में मुंबई पुलिस (Mumbai Police) पिछले 10 महीने से जांच कर रही हैं. अब खबर आई है कि पुलिस इस जल्द ही इस केस को बंद कर सकती है क्योंकि उन्हें आलोकनाथ के खिलाफ पर्याप्त सबूत नहीं मिल पाए हैं. ऐसे में पुलिस उनके खिलाफ चार्ज शीट (charge sheet) फाइल नहीं कर पाई है.
टाइम्स नाउ की रिपोर्ट के अनुसार, सबूत की कमी के कारण पुलिस ने चार्ज शीट फाइल नहीं की है और ऐसे में अब इस केस को बंद किया जा सकता है. पिछले साल एक टीवी स्क्रीन राइटर ने आलोकनाथ के खिलाफ ये कहकर आरोप लगाया कि 1990 में टीवी शो 'तारा' (Tara) की शूटिंग के दौरान आलोकनाथ ने उनका यौन शोषण किया था.
इस केस को लेकर आलोकनाथ ने भी उनके खिलाफ मानहानि (defamation) का केस दर्ज कराते हुए माफीनामा और 1 रूपए हर्जाने की मांग की थी. इस केस की सुनवाई के दौरान सेशंस कोर्ट ने (sessions court) आलोकनाथ के खिलाफ दर्ज केस को झूठा करार दिया. कोर्ट ने उन्हें प्री-अरेस्ट बैल दी और 5 लाख बॉन्ड का भी आश्वासन दिया.
इस केस के चलते आलोकनाथ को सिने एंड टीवी आर्टिस्ट्स एसोसिएशन (Cine and TV Artists Association) ने भी बैन कर दिया था. आलोकनाथ आखिरी बार अजय देवगन (Ajay Devgn) और रकुल प्रीत सिंह (Rakul Preet Singh) के साथ फिल्म 'दे दे प्यार दे' (De De Pyaar De) में नजर आए थे.