जम्मू, 3 जुलाई : जम्मू कश्मीर (Jammu and Kashmir) के रियासी जिले में रविवार को ग्रामीणों ने भारी हथियारों से लैस लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) के दो आतंकवादियों को काबू में कर पुलिस को सौंप दिया. पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी. उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) दिलबाग सिंह ने ग्रामीणों के साहस की प्रशंसा की और उनके लिए नकद इनाम की घोषणा की. अधिकारियों ने कहा कि घटना तुकसन ढोक गांव में हुई और पकड़े गए आतंकवादियों में राजौरी जिले का निवासी लश्कर कमांडर तालिब हुसैन शामिल है जो जिले में पिछले दिनों हुए आईईडी विस्फोटों का मास्टरमाइंड भी था. अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक, जम्मू जोन मुकेश सिंह ने यहां एक बयान में कहा, ‘‘आज, तुकसन ढोक के ग्रामीणों ने लश्कर के दो ‘मोस्ट वांटेड’ आतंकवादियों को पकड़ने में अत्यधिक साहस दिखाया, जो पुलिस और सेना (राजौरी जिले में) के लगातार दबाव के बाद क्षेत्र में शरण लेने के लिए पहुंचे थे.’’
उन्होंने अन्य पकड़े गए आतंकवादी की पहचान दक्षिण कश्मीर के पुलवामा के फैजल अहमद डार के रूप में की और कहा कि गिरफ्तार आतंकवादियों के पास से दो एके राइफल, सात ग्रेनेड, एक पिस्तौल और भारी मात्रा में गोला-बारूद बरामद किया गया.
सिंह ने कहा कि उपराज्यपाल ने ग्रामीणों के साहस की सराहना की और उनकी बहादुरी के लिए पांच लाख रुपये के नकद इनाम की घोषणा की, जबकि पुलिस महानिदेशक ने उनके लिए दो लाख रुपये के नकद इनाम की घोषणा की. उपराज्यपाल कार्यालय ने ट्वीट किया, ‘‘मैं तुकसन ढोक, रियासी के ग्रामीणों की बहादुरी को सलाम करता हूं, जिन्होंने दो ‘मोस्ट वांटेड’ आतंकवादियों को पकड़ा. आम आदमी का ऐसा दृढ़ संकल्प दिखाता है कि आतंकवाद का अंत दूर नहीं है.
आतंकवादियों और आतंकवाद के खिलाफ वीरतापूर्ण कार्य के लिए केंद्रशासित प्रदेश सरकार ग्रामीणों को पांच लाख रुपये का नकद इनाम देगी.’’ दोनों की गिरफ्तारी 28 जून को राजौरी जिले में हुसैन के नेतृत्व वाले एक मॉड्यूल का खुलासा करने के बाद हुई, जो जिले में हाल में हुए विस्फोटों में शामिल था. संगठन के दो गिरफ्तार आतंकवादियों के पास से पांच आईईडी बरामद किये गये थे. हुसैन फरार हो गया था और सुरक्षा बलों के जाल से बचने के लिए पास के रियासी जिले में चला गया था. सिंह ने कहा, ‘‘हुसैन पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादी कासिम के लगातार संपर्क में था और राजौरी जिले में आईईडी विस्फोटों के कम से कम तीन मामलों में शामिल था. वह नागरिकों की हत्या और ग्रेनेड हमलों में भी शामिल था.’’ यह भी पढ़ें : लखीमपुर खीरी में बस की चपेट में आने से मोटरसाइकिल सवार चार लोगों की मौत
उन्होंने कहा कि प्रारंभिक पूछताछ के दौरान यह पता चला है कि दोनों आतंकवादी पाकिस्तानी लश्कर के आतंकी सलमान के संपर्क में भी थे. दोनों आतंकवादियों की गिरफ्तारी को एक बड़ी सफलता बताते हुए अधिकारी ने कहा कि वे रियासी के अलावा सीमावर्ती जिलों राजौरी और पुंछ में फिर से आतंकवाद फैलाने का प्रयास कर रहे थे. 26 मार्च को राजौरी के कोटराना शहर और 19 अप्रैल को दो विस्फोट हुए, जिसमें दो लोग घायल हो गए थे. 24 अप्रैल को राजौरी के शाहपुर-बुधल इलाके में हुए एक अन्य विस्फोट में दो और लोग घायल हो गए थे.