बिलासपुर, 23 सितंबर छत्तीसगढ़ के बिलासपुर जिले में विधायक शैलेष पांडेय के आरोपों के बाद कांग्रेस की स्थानीय इकाई ने उन्हें पार्टी से निष्कासित करने की अनुशंसा की है।
राज्य के बिलासपुर शहर स्थित छत्तीसगढ़ आयुर्विज्ञान संस्थान (सिम्स) में कांग्रेस नेता पंकज सिंह और एक कर्मचारी के मध्य विवाद और सिंह के खिलाफ कोतवाली थाने में प्राथमिकी दर्ज होने के बाद विधायक पांडेय ने आरोप लगाया था कि स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव के करीबी होने के कारण सिंह के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
बिलासपुर जिला शहर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष प्रमोद नायक ने बृहस्पतिवार को एक संवाददाता सम्मेलन में बताया कि पांडेय के बयान के बाद कमेटी ने प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम को एक प्रस्ताव भेजा है जिसमें बिलासपुर से विधायक शैलेष पांडेय को छह वर्ष के लिए पार्टी से निष्कासित करने की अनुशंसा की गई है।
नायक ने आरोप लगाया कि विधायक और उनके समर्थकों ने बुधवार को कोतवाली थाने में हंगामा किया था और पार्टी विरोधी गतिविधियों को बढ़ावा दिया था।
उन्होंने कहा कि पांडेय ने बुधवार को कहा था कि वह टीएस बाबा (टीएस सिंहदेव) के समर्थक हैं। पांडेय ने इस दौरान संवाददाताओं से कहा था कि पुलिस ने ऊपर से आदेश के बाद यह कार्रवाई की है। साथ ही वहां मुख्यमंत्री के खिलाफ नारे भी लगाए गए।
नायक ने कहा कि विधायक शैलेष पांडेय का यह कार्य पार्टी के अनुशासन का उल्लंघन है।
नायक ने बताया कि जिला शहर कांग्रेस कमेटी की कार्यसमिति की बैठक के दौरान उपाध्यक्ष राजकुमार तिवारी ने एक प्रस्ताव पेश कर कहा कि विधायक पांडेय को क्यों न छह वर्ष की अवधि के लिए पार्टी से निष्कासित करने की अनुशंसा की जाए।
उन्होंने बताया कि इस प्रस्ताव का इकाई के महामंत्रियों ने समर्थन किया और बाद में इकाई के सभी सदस्यों ने भी इसका समर्थन किया। नायक ने कहा कि हमने इस संबंध में छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष मोहन मरकाम के पास प्रस्ताव भेजा है।
इस दौरान नायक के साथ छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष अटल श्रीवास्तव तथा बिलासपुर नगर निगम के महापौर रामशरण यादव तथा पार्टी के अन्य नेता मौजूद थे।
इधर स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव के कट्टर समर्थक माने जाने वाले विधायक शैलेश पांडेय ने अपने निष्कासन संबंधी प्रस्ताव पर सीधे तौर पर कोई प्रतिक्रिया व्यक्त नहीं की है। उन्होंने कहा है कि शुक्रवार को इस मामले में वह विस्तार से चर्चा करेंगे।
माना जा रहा है कि अब टी एस सिंहदेव के करीबी विधायक शैलेष पांडेय के आरोप और उनके निष्कासन की मांग के बाद सिंहदेव और मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के गुट के बीच विवाद और बढ़ सकता है।
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