देश की खबरें | एसएफआईओ ने न्यायालय से यूनिटेक लिमिटेड के मामलों की जांच रिपोर्ट दाखिल करने की अनुमति मांगी

नयी दिल्ली, 29 सितंबर गंभीर धोखाधड़ी जांच कार्यालय (एसएफआईओ) ने बुधवार को उच्चतम न्यायालय को बताया कि उसने यूनिटेक लिमिटेड में अनियमितताओं पर एक रिपोर्ट तैयार की है और उसकी कुछ संपत्तियों का पता लगाया है।

एसएफआईओ ने सीलबंद लिफाफे में अपनी रिपोर्ट दाखिल करने की अनुमति मांगते हुए कहा कि उन्हें कुछ मुद्दे न्यायालय के संज्ञान में लाने हैं।

न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड, न्यायमूर्ति विक्रम नाथ और न्यायमूर्ति बी वी नागरत्ना ने एसएफआईओ की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल माधवी दीवान को इसकी अनुमति देते हुए कहा कि हालांकि उसका इस मामले की बृहस्पतिवार को सुनवाई करने का कार्यक्रम था लेकिन कुछ समस्या के कारण विशेष पीठ अगले बुधवार को सुनवाई करेगी।

पीठ ने कहा, ‘‘आप सीलबंद लिफाफे में अपनी रिपोर्ट दाखिल कर सकते हैं लेकिन मामले पर सुनवाई अगले बुधवार को होगी।’’

सुनवाई की शुरुआत में दीवान ने मामले का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘एसएफआईओ ने यूनिटेक लिमिटेड की अपनी जांच पर रिपोर्ट तैयार की हैं। उन्हें समूह की कुछ संपत्तियों का पता चला है और कुछ स्पष्टीकरण चाहिए। उन्हें मिली कुछ संपत्तियां प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा पायी गयी संपत्तियों से अधिक हैं।’’

दीवान ने कहा, ‘‘हमें यह स्पष्टीकरण चाहिए कि क्या एसएफआईओ रिपोर्ट सीलबंद लिफाफे में दाखिल की जानी चाहिए या सामान्य रूप से। हमें कुछ मुद्दे भी अदालत के संज्ञान में लाने की आवश्यकता है।’’

पीठ ने सीलबंद लिफाफे में रिपोर्ट दाखिल करने की अनुमति देते हुए मामले पर अगली सुनवाई के लिए छह अक्टूबर की तारीख तय की।

न्यायालय ने 26 अगस्त को निर्देश दिया था कि यूनिटेक के प्रोमोटर संजय चंद्रा और अजय चंद्रा को यहां तिहाड़ जेल से मुंबई की आर्थर रोड जेल और महाराष्ट्र में तलोजा जेल स्थानांतरित किया जाए। शीर्ष अदालत ने यह आदेश ईडी द्वारा यह सूचित किए जाने के बाद दिया था कि ये लोग जेल कर्मियों की मिलीभगत से जेल परिसर के भीतर से ही कारोबार चला रहे हैं।

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