मुंबई, 23 अगस्त रुपया शुक्रवार को सीमित दायरे में कारोबार के बीच डॉलर के मुकाबले तीन पैसे की बढ़त के साथ 83.90 प्रति डॉलर पर बंद हुआ। जैक्सन होल संगोष्ठी में फेडरल रिजर्व के चेयरमैन जेरोम पावेल के संबोधन से पहले कारोबारियों के सतर्क रुख अपनाने से कारोबारी धारणा प्रभावित हुई।
विदेशी मुद्रा कारोबारियों ने कहा कि कमजोर अमेरिकी डॉलर, विदेशी पूंजी के प्रवाह और घरेलू बाजारों में सकारात्मक रुख ने रुपये को सहारा दिया। हालांकि, कच्चे तेल की कीमतों में अचानक आई तेजी ने तेज बढ़त को रोक दिया।
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया डॉलर के मुकाबले 83.93 पर खुला और दिन में कारोबार के दौरान 83.85 के उच्चस्तर तक गया। रुपया कारोबार के अंत में डॉलर के मुकाबले 83.90 प्रति डॉलर पर बंद हुआ जो पिछले बंद स्तर से तीन पैसे की बढ़त है।
पिछले कारोबारी सत्र में रुपया तीन पैसे टूटकर 83.93 प्रति डॉलर पर बंद हुआ था।
शेयरखान बाय बीएनपी पारिबा के शोध विश्लेषक अनुज चौधरी ने कहा कि “रुपये के थोड़े नकारात्मक रुझान के साथ कारोबार करने की संभावना है। कारोबारी जैक्सन होल संगोष्ठी में फेडरल रिजर्व के चेयरमैन पावेल के भाषण से पहले सतर्क बने हुए हैं। इसमें ब्याज दरों में कटौती के बारे में कुछ संकेत मिल सकता है।”
उन्होंने कहा, “कमजोर अमेरिकी और एशियाई बाजार तथा कच्चे तेल की कीमतों में सुधार से रुपये पर दबाव पड़ सकता है, जबकि सकारात्मक घरेलू बाजार निचले स्तर पर रुपये को समर्थन दे सकते हैं।”
इस बीच, दुनिया की छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले डॉलर की मजबूती को मापने वाला डॉलर सूचकांक 0.10 प्रतिशत की गिरावट के साथ 101.40 पर रहा।
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड 1.05 प्रतिशत चढ़कर 78.03 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया।
बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 33.02 अंक बढ़कर 81,086.21 अंक पर बंद हुआ। एनएसई निफ्टी 11.65 अंक की बढ़त के साथ 24,823.15 अंक पर बंद हुआ।
शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) पूंजी बाजार में शुद्ध लिवाल रहे। उन्होंने शुक्रवार को 1,944.48 करोड़ रुपये मूल्य के शेयरों की शुद्ध खरीदारी की।
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