नयी दिल्ली, तीन जून सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी ओएनजीसी के पास अगले 12-18 महीनों के दौरान निवेश बढ़ाने का एक ठोस आधार है, क्योंकि वैश्विक ऊर्जा कीमतों में उछाल के कारण उसकी आय में भारी बढ़ोतरी होगी। एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स ने शुक्रवार को यह बात कही।
रेटिंग एजेंसी ने एक बयान में कहा कि बेहतर नकदी प्रवाह ओएनजीसी की रेटिंग का समर्थन कर रहा है।
ओएनजीसी को कच्चे तेल के लिए अंतरराष्ट्रीय तेल दरों के अनुसार कीमत मिलती है, जबकि सरकार प्राकृतिक गैस की कीमत एक फार्मूले के आधार पर तय करती है, जो वैश्विक सूचकांकों पर आधारित है।
इस समय तेल कीमतें कई वर्षों के उच्च स्तर पर हैं, जबकि ओएनजीसी के लिए गैस की कीमतें भी बढ़ाकर 6.1 अमेरिकी डॉलर प्रति 10 लाख ब्रिटिश थर्मल यूनिट कर दी गई है।
रिपोर्ट में आगे कहा गया, ‘‘ओएनजीसी अगले कुछ वर्षों में अपने बेहतर नकदी प्रवाह के 60 प्रतिशत से अधिक हिस्से को निवेश करेगी। हमें उम्मीद है कि कंपनी वित्त वर्ष 2022-23 (31 मार्च 2023 को समाप्त) में 55,000-60,000 करोड़ रुपये निवेश करेगी, जबकि पिछले दो वर्षों के दौरान सालाना आधार पर 45,000 करोड़ रुपये से कम निवेश किए गए।’’
ओएनजीसी अगले तीन वर्षों में खोज गतिविधियों पर 31,000 करोड़ रुपये खर्च करना चाहती है, जबकि पिछले तीन वर्षों में करीब 21,000 करोड़ रुपये खर्च किए गए।
एसएंडपी ने कहा कि इससे कंपनी का उत्पादन बढ़ेगा और कीमतें घटने पर भी आय स्थिर बनी रहेगी। रिपोर्ट में कहा गया कि उम्मीद है कि ओएनजीसी शेयरधारकों को बेहतर लाभांश भी देती रहेगी।
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