दिन का खेल खत्म होने पर विलियमसन 112 जबकि रविंद्र 118 रन बनाकर खेल रहे थे। दोनों तीसरे विकेट के लिए 219 रन की अटूट साझेदारी कर चुके हैं. पहले दिन रन बनाना हालांकि आसान नहीं रहा. न्यूजीलैंड ने पहले सत्र में 25 ओवर में 65 और दूसरे सत्र में 27 ओवर में 60 रन बनाए. यह भी पढ़ें: SL vs BAN: श्रीलंका के खिलाफ आगामी घरेलू श्रृंखला से बाहर हो सकते हैं शाकिब अल हसन, आंखों में दिक्कत
दक्षिण अफ्रीका के युवा गेंदबाजों ने शुरुआती दो सत्र में न्यूजीलैंड के बल्लेबाजों को खुलकर खेलने का मौका नहीं दिया. तीसरे और अंतिम सत्र में हालांकि मेजबान टीम के बल्लेबाजों ने बेहतर प्रदर्शन करते हुए 34 ओवर में 133 रन बटोरे.
विलियमसन और रविंद्र दोनों को जीवनदान भी मिले. विलियमसन जब 47 रन पर खेल रहे थे तब एडवर्ड मूर ने रुआन डि स्वार्ट की गेंद पर उनका कैच टपकाया. यह गेंदबाज एक बार फिर दुर्भाग्यशाली रहा जब डुआने ओलिवियर ने उनकी गेंद पर रविंद्र का कैच छोड़ दिया। रविंद्र इस समय 80 रन बनाकर खेल रहे थे.
विलियमसन ने अपने 13वें चौके के साथ 241 गेंद में शतक पूरा किया. यह दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ उनका चौथा और न्यूजीलैंड में 17वां शतक है.रविंद्र ने भी इसके बाद शतक पूरा किया.
विलियमसन और रविंद्र उस समय एक साथ बल्लेबाजी के लिए आए थे जब टीम 39 रन पर दो विकेट गंवाने के बाद संकट में थी.
दक्षिण अफ्रीका ने छह खिलाड़ियों को पदार्पण कर मौका दिया जिसमें कप्तान नील ब्रैंड भी शामिल हैं जिन्होंने टॉस जीतकर बल्लेबाजी का फैसला किया. दक्षिण अफ्रीका के लगभग सभी अनुभवी गेंदबाज टी20 प्रतियोगिता में खेलने के लिए स्वदेश में हैं लेकिन उसके युवा गेंदबाजों ने पहले दिन अच्छी टक्कर दी.
दाएं हाथ के तेज गेंदबाज शेपो मोरेकी ने टेस्ट क्रिकेट में अपनी पहली गेंद पर डेवोन कॉनवे (01) को पगबाधा किया जबकि तीसरा टेस्ट खेल रहे डेन पीटरसन ने टॉम लैथम (20) की पारी का अंत किया.
विलियमसन और रविंद्र ने इसके बाद पारी को संवारा। दोनों ने लंच तक टीम का स्कोर दो विकेट पर 65 रन तक पहुंचाया. विलियमसन ने 144 जबकि रविंद्र ने 120 गेंद में अर्धशतक पूरा किया.
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