काठमांडू: नेपाल (Nepal) की राष्ट्रपति विद्या देवी भंडारी (Vidya Devi Bhandari) ने शुक्रवार आधी रात को संसद भंग कर दी और 12 तथा 19 नवंबर को मध्यावधि चुनाव कराने की घोषणा की. भंडारी ने यह घोषणा संसद भंग करने की प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली (KP Sharma Oli) की सिफारिश का समर्थन करने के बाद की. नेपाल की राजनीति में केपी शर्मा ओली ने मारी बाजी, फिर बने प्रधानमंत्री, विपक्ष बहुमत साबित करने में फेल
राष्ट्रपति कार्यालय से प्रेस को जारी एक बयान में कहा गया है कि संसद को भंग कर दिया गया है और नेपाल के संविधान के अनुच्छेद 76 (7) के आधार पर मध्यावधि चुनावों की तारीखों की घोषणा की गई है. मंत्री परिषद ने पहले चरण का चुनाव 12 नवंबर और दूसरे चरण का चुनाव 19 नवंबर को कराने की सिफारिश की.
नेपाल के राजनीतिक संकट ने शुक्रवार को उस वक्त नाटकीय मोड़ ले लिया जब प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली और विपक्षी दलों दोनों ने ही राष्ट्रपति को सांसदों के हस्ताक्षर वाले पत्र सौंपकर नयी सरकार बनाने का दावा पेश किया. प्रधानमंत्री ओली विपक्षी दलों के नेताओं से कुछ मिनट पहले राष्ट्रपति के कार्यालय शीतल निवास पहुंचे और अपनी सूची सौंपी.
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)