रांची, 21 अक्टूबर झारखंड उच्च न्यायालय ने धनबाद के न्यायाधीश उत्तम आनंद की हत्या की जांच के लिए स्वत: संज्ञान लेकर शुरू की गई याचिका का सोमवार को निपटारा कर दिया।
केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने अदालत को बताया कि जांच पूरी हो चुकी है और आरोपपत्र दाखिल करने के बाद दो आरोपियों राहुल वर्मा तथा लक्ष्मण वर्मा को दोषी ठहराया गया है और आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है।
एजेंसी ने अदालत को यह भी बताया कि जांच में किसी साजिश का कोई पहलू नहीं मिला है और मामले में आगे जांच की आवश्यकता नहीं लगती।
मुख्य न्यायाधीश एम एस रामचंद्र राव और न्यायमूर्ति दीपक रोशन की खंडपीठ ने याचिका पर सुनवाई करते हुए और सीबीआई की दलील को स्वीकार करते हुए कहा कि सभी पहलुओं से जांच पूरी हो चुकी है तथा किसी गहरी साजिश का कोई तत्व सामने नहीं आया है, इसलिए याचिका का निपटारा किया जाता है।
न्यायाधीश उत्तम आनंद 28 जुलाई 2021 को सुबह 5 बजे धनबाद के रणधीर वर्मा चौक के पास पैदल जा रहे थे। उन्हें एक ऑटोरिक्शा ने टक्कर मार दी थी।
अगस्त 2021 में इस मामले की जांच सीबीआई को सौंपी गई थी, जिसके बाद एजेंसी ने मामले को अपने हाथ में लिया। एजेंसी ने दो लोगों राहुल वर्मा और लखन वर्मा को गिरफ्तार किया था, जिन्हें अब दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है।
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