नयी दिल्ली, 28 नवंबर सरकार ने बृहस्पतिवार को खाद्य वस्तुओं की महंगाई पर लगाम लगाने के लिए थोक घरेलू उपभोक्ताओं को मार्च 2025 तक 25 लाख टन एफसीआई गेहूं बेचने की घोषणा की।
गेहूं की बिक्री सरकार की खुला बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) पहल के तहत की जाएगी। इसका प्रबंधन सरकारी स्वामित्व वाली भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) द्वारा, आपूर्ति और कीमतों को नियंत्रित करने के लिए किया जाता है।
खाद्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि ओएमएसएस के तहत गेहूं के लिए आरक्षित मूल्य उचित एवं औसत गुणवत्ता (एफएक्यू) अनाज के लिए 2,325 रुपये प्रति क्विंटल और यूआरएस (थोड़ी कम गुणवत्ता वाले) अनाज के लिए 2,300 रुपये प्रति क्विंटल तय किया गया है।
31 मार्च, 2025 तक ई-नीलामी के माध्यम से निजी पक्षकारों को गेहूं बेचा जाएगा, जिसमें आटा मिलें, गेहूं उत्पाद बनाने वाले, प्रसंस्करणकर्ता और अंतिम उपयोगकर्ता शामिल हैं।
हालांकि, सरकार ने थोक उपयोगकर्ताओं को एफसीआई गेहूं की बिक्री शुरू करने की तारीख के बारे में जानकारी नहीं दी।
पिछले साल, एफसीआई ने ओएमएसएस के तहत थोक उपयोगकर्ताओं को 10 लाख टन से अधिक गेहूं बेचा था।
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