जरुरी जानकारी | जीजेईपीसी ने प्रयोगशाला में विकसित हीरों पर पहली क्रेता-विक्रेता बैठक शुरू की
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on Information at LatestLY हिन्दी. रत्न एवं आभूषण निर्यात संवर्धन परिषद (जीजेईपीसी) ने बुधवार को गुजरात के सूरत में प्रयोगशाला में विकसित हीरों के क्रेता-विक्रेता की पहली बैठक शुरू की।
मुंबई, पांच अप्रैल रत्न एवं आभूषण निर्यात संवर्धन परिषद (जीजेईपीसी) ने बुधवार को गुजरात के सूरत में प्रयोगशाला में विकसित हीरों के क्रेता-विक्रेता की पहली बैठक शुरू की।
इस बैठक में 13 विभिन्न देशों के 22 प्रदर्शकों की भागीदारी की उम्मीद है।
जीजेईपीसी के अध्यक्ष विपुल शाह ने बयान में कहा, ‘‘पिछले पांच साल में भारत में एलजीडी (प्रयोगशाला से विकसित हीरा) क्षेत्र में काफी वृद्धि हुई है, वर्ष 2016-17 में निर्यात 13.1 करोड़ डॉलर से बढ़कर अप्रैल, 2022 से फरवरी, 2023 तक 1.5 अरब डॉलर का हो गया है।’’
शाह ने कहा कि एलजीडी सीड पर आयात शुल्क समाप्त करने के सरकार के फैसले से भारत से एलजीडी के उत्पादन और निर्यात को बढ़ावा देने में मदद मिल रही है और इस क्षेत्र के 2025 तक देश के कुल रत्न और आभूषण निर्यात में 10 प्रतिशत का योगदान करने की उम्मीद है।
इस तीन दिन की बैठक का उद्देश्य खरीदारों और विक्रेताओं के बीच सीधी बातचीत, सौदों पर बातचीत करना और लंबे समय तक चलने वाले व्यापारिक संबंधों को विकसित करने के लिए एक मंच प्रदान करना है।
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