नयी दिल्ली, चार जनवरी भारत इस साल जी-20 की अध्यक्षता कर रहा है और ऐसे में विदेशी प्रतिनिधियों को अतुल्य भारत की झलक दिखानेG20 के साथ ही केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय का मुख्य ध्यान देश को एक प्रमुख पर्यटन स्थल के रूप में पेश करने पर होगा।
भारत ने एक दिसंबर 2022 को इस प्रभावशाली समूह की अध्यक्षता ग्रहण की और इसी के साथ इस साल मंत्रालय के कैलेंडर की थीम भी तय कर दी।
देश भर में 55 स्थानों पर 200 से अधिक बैठकें आयोजित की जाएंगी, जिसका समापन 9-10 सितंबर को वार्षिक जी-20 शिखर सम्मेलन के साथ होगा।
पर्यटन मंत्रालय इस दौरान विभिन्न देशों से आने वाले मेहमानों को भारत की समृद्ध खानपान व सांस्कृतिक विरासत दिखाने के लिए तैयार है।
पहली जी-20 बैठक - शेरपा बैठक - दिसंबर के पहले सप्ताह में राजस्थान के उदयपुर में आयोजित की गई थी।
कलात्मक भित्ति चित्रों से लेकर विरासत स्थलों को रोशनी से अलंकृत करने तक, पुराने शहर ने सही मेजबान की भूमिका निभाई। इस दौरान यूनेस्को के विश्व धरोहर स्थल कुंभलगढ़ किले के अलावा अन्य प्रतिष्ठित इमारतों को बैठक स्थल के रूप में चुना गया था।
केंद्रीय पर्यटन सचिव अरविंद सिंह ने कहा था कि जी-20 बैठकों की तैयारी चल रही है और पर्यटन ट्रैक के तहत पहली बैठक जनवरी के अंत या फरवरी की शुरुआत में गुजरात के कच्छ के सुरम्य रण में आयोजित की जाएगी।
सिंह ने कहा था, “(इस श्रेणी में) दूसरी बैठक सिलीगुड़ी (पश्चिम बंगाल) में, तीसरी श्रीनगर में और चौथी गोवा में होगी।”
बैठकों के लिए 55 स्थल बड़े महानगरों से लेकर छोटे शहरों तक फैले हुए हैं, जिनमें इतिहास और प्राकृतिक सुंदरता से समृद्ध हम्पी और खजुराहो जैसे स्थान शामिल हैं। इनमें द्वितीय व तृतीय श्रेणी के ऐसे शहर भी शामिल होंगे जो रमणीय व सांस्कृतिक विरासत में समृद्ध हैं।
सिंह ने नवंबर में ‘पीटीआई-’ से कहा था, इसलिए जी-20 बैठक की तैयारियों के तहत इन शहरों को भी सजाया जाएगा।
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