(सज्जाद हुसैन/एम. जुल्करनैन)
इस्लामाबाद, पांच अगस्त पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को भ्रष्टाचार के एक मामले में शनिवार को तीन साल जेल की सजा सुनाए जाने के बाद गिरफ्तार कर लिया गया। इस मामले में उन पर सत्ता में रहने के दौरान महंगे सरकारी उपहार बेचने का आरोप है।
इस्लामाबाद स्थित जिला एवं सत्र अदालत के अतिरिक्त न्यायाधीश हुमायूं दिलावर ने खान पर एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया। अदालत ने कहा कि जुर्माना नहीं देने पर उन्हें और छह महीने तक जेल में रखा जाएगा।
दिलावर ने अपने फैसले में कहा, “पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के अध्यक्ष के खिलाफ संपत्ति की गलत घोषणा करने के आरोप साबित हुए हैं।”
उन्होंने कहा, “इमरान खान ने जानबूझकर पाकिस्तान निर्वाचन आयोग (ईसीपी) के सामने (तोशाखाना उपहारों का) फर्जी विवरण प्रस्तुत किया और वह भ्रष्ट आचरण के दोषी पाए गए हैं।”
उन्होंने निर्वाचन अधिनियम की धारा 174 के तहत खान को तीन साल जेल की सजा सुनाई।
दिलावर ने यह भी निर्देश दिया कि अदालत के आदेशों के कार्यान्वयन के लिए आदेश की एक प्रति इस्लामाबाद पुलिस प्रमुख को भेजी जानी चाहिए। इस्लामाबाद के पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) को गिरफ्तारी वारंट का तत्काल अमल सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया।
अदालत के फैसले के बाद इस्लामाबाद पुलिस ने पंजाब पुलिस के सहयोग से 70 वर्षीय खान को लाहौर में उनके आवास से गिरफ्तार कर लिया। खान के परिवार ने यह जानकारी दी।
पंजाब के सूचना मंत्री आमिर मीर ने एक बयान में कहा कि पुलिस खान को इस्लामाबाद ले जा रही है।
‘पीटीआई’ की कानूनी टीम ने कहा कि खान को हेलीकॉप्टर के जरिए इस्लामाबाद ले जाया जा रहा है।
प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ के विशेष सहायक अताउल्लाह तरार ने खान की गिरफ्तारी की पुष्टि की है।
उन्होंने पत्रकारों से कहा, "यह बाद में तय किया जाएगा कि उन्हें रावलपिंडी की अदियाला जेल में रखा जाएगा या कहीं और।”
शनिवार सुबह साढ़े 8 बजे शुरू हुई सुनवाई के दौरान न्यायाधीश ने इमरान के वकीलों की अनुपस्थिति पर बार-बार नाराजगी व्यक्त की।
मीडिया में आईं खबरों के अनुसार उन्होंने बचाव पक्ष के वकील को अदालत में पेश होने के लिए कई मौके दिए। न तो प्रतिवादी और न ही उसके वरिष्ठ वकील उपस्थित हुए। पीटीआई प्रमुख के कनिष्ठ वकील ने अदालत को सूचित किया कि खान को एक अन्य अदालत में पेश होना है।
पिछले उदाहरणों के विपरीत, खान को बिना किसी बड़े प्रतिरोध के शनिवार को हिरासत में लिया गया।
उन्हें नौ मई को इस्लामाबाद में अल-कादिर ट्रस्ट भ्रष्टाचार मामले में उच्च न्यायालय परिसर से गिरफ्तार किया गया था, जिसके बाद उनके समर्थकों ने हिंसक विरोध प्रदर्शन किया था।
खान के खिलाफ 150 से अधिक मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें भ्रष्टाचार, आतंकवाद और हिंसक विरोध प्रदर्शन और लोगों को हिंसा के लिए उकसाने के कई आरोप शामिल हैं।
तोशाखाना मामला पिछले साल पाकिस्तान निर्वाचन आयोग (ईसीपी) की शिकायत पर दायर किया गया था। ईसीपी इससे पहले इसी मामले में खान को अयोग्य करार दे चुकी थी।
इस्लामाबाद उच्च न्यायालय (आईएचसी) द्वारा खान के खिलाफ आपराधिक कार्यवाही के लिए तोशाखाना मामले की विचारणीयता को बरकरार रखने के सत्र अदालत के फैसले को रद्द करने के एक दिन बाद यह फैसला आया।
ईसीपी ने 21 अक्टूबर, 2022 को खान को ‘‘झूठे बयान और गलत जानकारी’’ देने के आरोप में सार्वजनिक पद संभालने के लिए अयोग्य घोषित कर दिया था।
तोशाखाना कैबिनेट प्रभाग के अंतर्गत एक विभाग है, जहां अन्य सरकारों के प्रमुखों और विदेशी गणमान्य व्यक्तियों द्वारा शासकों और सरकारी अधिकारियों को दिए गए उपहारों को रखा जाता है। खान ने तोशाखाना से कुछ उपहार खरीदे, जिनमें एक कीमती घड़ी भी शामिल थी, और उसे लाभ कमाने के लिए बेच दिया।
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