Farmers Protest: पंजाब-हरियाणा के किसान दिल्ली में ट्रैक्टर परेड के लिए आज होंगे रवाना, बढ़ाई गई सुरक्षा
पंजाब और हरियाणा के किसानों के कई जत्थे कुछ दिनों के पूर्वाभ्यास और तैयारियों के बाद 26 जनवरी को दिल्ली में प्रस्तावित ट्रैक्टर परेड में हिस्सा लेने के लिए शनिवार को निकलेंगे. केंद्र के तीन कृषि कानूनों का विरोध करने वाले किसान यूनियनों ने कहा है कि वे गणतंत्र दिवस पर दिल्ली में अपनी ट्रैक्टर परेड करेंगे. नए कानून किसानों को अपनी उपज बेचने के लिए अधिक विकल्प प्रदान करेंगे.
चंडीगढ़, 23 जनवरी: पंजाब और हरियाणा के किसानों के कई जत्थे कुछ दिनों के पूर्वाभ्यास और तैयारियों के बाद 26 जनवरी को दिल्ली में प्रस्तावित ट्रैक्टर परेड (Tractor Parade) में हिस्सा लेने के लिए शनिवार को निकलेंगे. केंद्र के तीन कृषि कानूनों का विरोध करने वाले किसान यूनियनों ने कहा है कि वे गणतंत्र दिवस पर दिल्ली में अपनी ट्रैक्टर परेड करेंगे. यूनियनों ने दिल्ली (Delhi) के आउटर रिंग रोड पर ट्रैक्टर परेड निकालने की घोषणा की है. भारती किसान यूनियन (एकता-उग्राहां) के महासचिव सुखदेव सिंह कोकरीकलां ने शुक्रवार को कहा, "हम सभी ट्रैक्टर परेड में भाग लेने के लिए तैयार हैं. हमारा पहला जत्था खनौरी (संगरूर में) से और दूसरा डबवाली (सिरसा जिले में) से रवाना होगा."
उन्होंने कहा कि लोगों के उत्साह को देखते हुए हमारी यूनियन से जुड़े 30,000 से अधिक ट्रैक्टर परेड का हिस्सा होंगे. कोकरीकलां ने कहा, "ट्रैक्टरों पर यूनियन के झंडों के साथ पोस्टर होंगे जिन पर 'किसान एकता जिंदाबाद', 'किसान नहीं तो भोजन नहीं' आदि नारे होंगे." कोकरीकलां ने कहा कि ट्रैक्टर कुछ ट्रॉली भी लेकर जाएंगे ताकि परेड के दौरान कुछ महिलाओं को समायोजित किया जा सके. परेड में कई महिलाएं ट्रैक्टर चलाएंगी. किसान नेताओं ने शुक्रवार को कहा कि विभिन्न किसान निकायों के प्रति निष्ठा रखने वाले किसानों के कई जत्थे 24 जनवरी को दिल्ली रवाना होंगे.
किसान यूनियनों ने लोगों को जुटाने और प्रस्तावित परेड के लिए तैयारी के तहत पिछले कुछ दिनों में राज्य भर में कई ट्रैक्टर रैलियां आयोजित की हैं. ऐसी ही एक उदाहरण बृहस्पतिवार को मोगा में एक ट्रैक्टर मार्च के दौरान देखने को मिला, जहां एक ट्रॉली पर एक झांकी थी जिसमें एक किसान को एक दो बैलों से खेत की जुताई करते दिखाया गया था. किसान यूनियनों ने एक शांतिपूर्ण ट्रैक्टर परेड का आह्वान किया है और किसान यूनियन ने मार्च के दौरान अनुशासन सुनिश्चित करने के लिए अपने गांव और ब्लॉक-स्तर के नेतृत्व को निर्देश जारी किए हैं. कोकरीकलां ने कहा, "हमारे यूनियन का ब्लॉक-स्तर और गांव-स्तर के नेता ट्रैक्टर मार्च का नेतृत्व करेंगे और बाकी लोग उनका अनुसरण करेंगे." उन्होंने कहा कि स्थिति पर नजर रखने के लिए स्वयंसेवकों को तैनात किया जाएगा.
किसान नेताओं ने कहा कि हरियाणा में करनाल, अंबाला, रोहतक, भिवानी और कुरुक्षेत्र के किसान दिल्ली रवाना होंगे.इस बीच, प्रस्तावित ट्रैक्टर परेड से पहले विभिन्न किसान यूनियनों के झंडों की मांग भी बढ़ गई है. पंजाब और हरियाणा में ऐसे झंडे लगे कई वाहन देखे जा सकते हैं. किसान आंदोलन और गणतंत्र दिवस पर ट्रैक्टर परेड आयोजित करने की उनकी योजना के मद्देनजर, हरियाणा पुलिस ने बृहस्पतिवार को अगले आदेश तक अपने कर्मियों की छुट्टी रद्द करने का फैसला किया.
पुलिस सूत्रों ने कहा कि हरियाणा के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी किसान आंदोलनों से जुड़े घटनाक्रम पर कड़ी नजर रख रहे हैं. कृषि कानूनों को निरस्त करने और फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य की कानूनी गारंटी की मांग को लेकर पंजाब और हरियाणा के हजारों किसान कई हफ्तों से दिल्ली की सीमाओं पर डेरा डाले हुए हैं. प्रदर्शनकारी किसानों का दावा है कि नए कानून एमएसपी प्रणाली को कमजोर करेंगे. हालांकि केंद्र का कहना है कि एमएसपी व्यवस्था बनी रहेगी और नए कानून किसानों को अपनी उपज बेचने के लिए अधिक विकल्प प्रदान करेंगे.
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