कोच्चि, 29 मार्च इजराइल में तनाव कम होने की संभावना के बीच बड़ी संख्या में भारतीय पर्यटकों के वहां जाने की उम्मीद है।
गोलियों की आवाजें गूंज रही थी और हवा में धुआं भरा हुआ था, लेकिन इनसे बेखौफ केरल से श्रद्धालुओं का एक बड़ा समूह इजराइल के 'चर्च ऑफ द होली सेपुलचर' की ओर बढ़ रहा था।
क्षेत्र की अशांति से विचलित हुए बिना, इन श्रद्धालुओं ने आस्था से प्रेरित होकर पवित्र सेपुलचर की यात्रा की, जहां ईसा मसीह की कब्र स्थित है।
सदियों से, दुनिया के विभिन्न क्षेत्रों से ईसाई समुदाय के लोग इस पूजनीय स्थल पर आते रहे हैं, और केरलवासियों विशेषकर ईसाई धर्मावलंबियों के लिए इसका महत्व आज भी काफी प्रबल है।
इजराइली पर्यटन मंत्रालय (आईएमओटी) के आंकड़ों से पता चलता है कि 2024 में 9,600 भारतीय पर्यटक इजराइल गए, जिनमें से 50 प्रतिशत धार्मिक यात्रा के लिए गए थे - उनमें से अधिकांश केरल से थे।
आईएमओटी के प्रवक्ता के अनुसार मौजूदा परिदृश्य में, इजराइल को इस बार केरल से अधिक लोगों के आने की उम्मीद है।
आईएमओटी-इंडिया की मार्केटिंग निदेशक अमृता बंगेरा ने 'पीटीआई-' से कहा, ‘‘हमें उम्मीद है कि इस वर्ष भारत से लगभग 70,000 पर्यटक इजराइल आएंगे और इनमें से 48 प्रतिशत धार्मिक यात्रा पर होंगे।’’
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)













QuickLY

