देश की खबरें | पार्टी के मंचों पर आलोचना जरूरी, लेकिन ऐसा न हो कि कांग्रेसजन का हौंसला टूटे: सोनिया

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने पार्टी के ‘नवसंकल्प चिंतन शिविर’ से पहले पार्टी नेताओं को चेतावनी देते हुए सोमवार को कहा कि पार्टी के मंचों पर आलोचना जरूरी है, लेकिन ऐसा नहीं होना चाहिए कि आम कांग्रेसजन का आत्मविश्वास एवं हौंसला टूट जाए।

देश की खबरें | पार्टी के मंचों पर आलोचना जरूरी, लेकिन ऐसा न हो कि कांग्रेसजन का हौंसला टूटे: सोनिया

नयी दिल्ली, नौ मई कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने पार्टी के ‘नवसंकल्प चिंतन शिविर’ से पहले पार्टी नेताओं को चेतावनी देते हुए सोमवार को कहा कि पार्टी के मंचों पर आलोचना जरूरी है, लेकिन ऐसा नहीं होना चाहिए कि आम कांग्रेसजन का आत्मविश्वास एवं हौंसला टूट जाए।

उन्होंने पार्टी की शीर्ष नीति निर्धारक इकाई कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक में कांग्रेस नेताओं का यह आह्वान भी किया कि अब पार्टी का कर्ज उतारने का समय आ गया है और ऐसे में उन्हें नि:स्वार्थ भाव एवं अनुशासन के साथ काम करना होगा क्योंकि पार्टी को फिर से मजबूत करने के लिए जादू की कोई छड़ी नहीं है।

सोनिया गांधी का कहना था कि ‘नवसंकल्प चिंतन शिविर’ रस्म अदायगी भर नहीं होना चाहिए, बल्कि इसमें पार्टी का पुनर्गठन प्रतिबिंबित होना चाहिए। यह चिंतन शिविर 13-15 मई को उदयपुर में आयोजित हो रहा है।

उन्होंने कहा, ‘‘इस शिविर में करीब 400 लोग शामिल हो रहे हैं जिनमें से ज्यादातर संगठन में किसी न किसी पद पर हैं या फिर संगठन अथवा सरकार में पदों पर रह चुके हैं। हमनें प्रयास किया है कि इस शिविर में संतुलित प्रतिनिधित्व हो, हर पहलू से संतुलन हो।’’

सोनिया गांधी ने इस बात का उल्लेख भी किया कि राजनीति, सामाजिक न्याय एवं सशक्तीकरण, अर्थव्यवस्था, संगठन, किसान एवं कृषि तथा युवा एवं सशक्तीकरण से जुड़े मुद्दों पर छह समूहों में चर्चा होगी।

उन्होंने कहा, ‘‘जादू की कोई छड़ी नहीं है। नि:स्वार्थ काम, अनुशासन और सतत सामूहिक उद्देश्य की भावना से हम दृढ़ता और लचीलेपन का प्रदर्शन कर सकते हैं। पार्टी ने हमेशा हम सबका भला किया है। अब समय आ गया है कि कर्ज को पूरी तरह चुकाया जाए।’’

सोनिया गांधी का यह भी कहना था, ‘‘ हमारे पार्टी के मंचों पर स्व-आलोचना की निश्चित तौर पर जरूरत है। किंतु यह इस तरह से नहीं होनी चाहिए कि आत्मविश्वास और हौंसले को तोड़े तथा निराशा का माहौल बनाए।’’

उन्होंने जोर देकर कहा, ‘‘चिंतन शिविर महज एक रस्म अदायगी नहीं होना चाहिए। मैं इसको लेकर प्रतिबद्ध हूं कि इसमें संगठन का पुनर्गठन परिलक्षित होना चाहिए ताकि वैचारिक, चुनावी और प्रबंधकीय चुनौतियों से निपटा जा सके।’’

(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)


संबंधित खबरें

Aaj Ka Mausam, October 10, 2025: देशभर में कैसा रहेगा आज का मौसम? मानसून का खत्म हो रहा असर, फिर भी कई राज्यों में बारिश का अलर्ट

क्या Donald Trump को मिलेगा 'नोबेल शांति पुरस्कार'? 10 अक्टूबर, 2025 को होगी घोषणा, जानें इसकी योग्यता के बारे में

India Women vs South Africa Women, ICC Women's World Cup 2025 10th Match Scorecard: रोमांचक मुकाबले में दक्षिण अफ्रीका ने टीम इंडिया को 3 विकेट से हराया, नादिन डी क्लर्क ने खेली मैच जीताऊ पारी; यहां देखें IND W बनाम SA W मैच का स्कोरकार्ड

Satta Matka: अवैध ऑनलाइन सट्टेबाजी मामले में बड़ी कार्रवाई, ईडी ने जब्त किया ₹50 करोड़ का सोना; जांच जारी

\