नयी दिल्ली, 29 मार्च भारत में एक दिन में कोविड-19 के 1,259 नए मामले सामने आने के बाद देश में कोरोना वायरस संक्रमितों की संख्या बढ़कर 4,30,21,982 हो गई। वहीं, उपचाराधीन मरीजों की संख्या घटकर 15,378 रह गई है।
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से मंगलवार को सुबह आठ बजे जारी किए गए अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, देश में 35 और लोगों की मौत के बाद, संक्रमण की वजह से जान गंवाने वालों की संख्या बढ़कर 5,21,070 हो गई। देश में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या घटकर 15,378 रह गई है, जो कुल मामलों का 0.04 प्रतिशत है। पिछले 24 घंटे में उपचाराधीन मरीजों की संख्या में 481 की कमी दर्ज की गई। मरीजों के ठीक होने की राष्ट्रीय दर 98.75 प्रतिशत है।
अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, संक्रमण की दैनिक दर 0.22 प्रतिशत और साप्ताहिक दर 0.25 प्रतिशत है। देश में अभी तक 78.79 करोड़ से अधिक नमूनों की कोविड-19 संबंधी जांच की गई है, जिनमें से 5,77,559 नमूनों की जांच पिछले 24 घंटे में की गई। देश में अभी तक कुल 4,24,85,534 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं और कोविड-19 से मृत्यु दर 1.21 प्रतिशत है। वहीं, राष्ट्रव्यापी टीकाकरण अभियान के तहत अभी तक कोविड-19 रोधी टीकों की 183.53 करोड़ से अधिक खुराक दी जा चुकी हैं।
उल्लेखनीय है कि देश में सात अगस्त 2020 को संक्रमितों की संख्या 20 लाख, 23 अगस्त 2020 को 30 लाख और पांच सितंबर 2020 को 40 लाख से अधिक हो गई थी। संक्रमण के कुल मामले 16 सितंबर 2020 को 50 लाख, 28 सितंबर 2020 को 60 लाख, 11 अक्टूबर 2020 को 70 लाख, 29 अक्टूबर 2020 को 80 लाख और 20 नवंबर को 90 लाख के पार चले गए थे।
देश में 19 दिसंबर 2020 को ये मामले एक करोड़ के पार हो गए थे। पिछले साल चार मई को संक्रमितों की संख्या दो करोड़ और 23 जून 2021 को तीन करोड़ के पार पहुंच गई थी। इस साल 26 जनवरी को मामले चार करोड़ के पार पहुंच गए थे।
मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, देश में पिछले 24 घंटे में संक्रमण से मौत के 35 मामले सामने आए, जिनमें से 25 मामले केरल के थे।
आंकड़ों के अनुसार, देश में संक्रमण से अभी तक 5,21,070 लोगों की मौत हुई है, जिनमें से महाराष्ट्र के 1,47,780, केरल के 67,822, कर्नाटक के 40,051, तमिलनाडु के 38,025, दिल्ली के 26,151, उत्तर प्रदेश के 23,494 और पश्चिम बंगाल के 21,197 लोग थे।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि अब तक जिन लोगों की कोरोना वायरस के संक्रमण से मौत हुई है, उनमें से 70 प्रतिशत से अधिक मरीजों को अन्य बीमारियां भी थीं। मंत्रालय ने अपनी वेबसाइट पर बताया कि उसके आंकड़ों का भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के आंकड़ों के साथ मिलान किया जा रहा है।
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