डोनाल्ड ट्रंप की वापसी पर पूरी दुनिया में हलचल! अर्जेंटीना और हंगरी में उत्साह, यूरोप की बढ़ी चिंता
डोनाल्ड ट्रंप की वापसी को लेकर दुनिया भर में मिश्रित प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं. रूस और वेनेजुएला जैसे देशों में उम्मीदें हैं कि उनके दूसरे कार्यकाल से रिश्तों में सुधार होगा, जबकि यूरोप में उनके अमेरिका के साथ संबंधों को लेकर चिंता है. ट्रंप की नीति और वैश्विक सुरक्षा पर उनके फैसले से अंतरराष्ट्रीय राजनीति में बड़ा बदलाव आ सकता है.
जैसे-जैसे डोनाल्ड ट्रंप की व्हाइट हाउस में वापसी की संभावना प्रबल हो रही है, दुनिया भर के नेता इसके परिणामों को लेकर अलग-अलग प्रतिक्रियाएं व्यक्त कर रहे हैं. ट्रंप के दूसरे कार्यकाल को लेकर वैश्विक दृष्टिकोण काफी भिन्न है, जहां कुछ जगहों पर उम्मीद और आशा की लहर है, वहीं अन्य स्थानों पर चिंता और शंका व्यक्त की जा रही है.
रूस: क्या होगी एक नई शुरुआत?
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने ट्रंप की वापसी पर सतर्क आशावाद व्यक्त किया. पुतिन ने 7 नवंबर को एक सार्वजनिक संबोधन में ट्रंप की बहादुरी की सराहना की, खासकर उनके जीवन पर हुए दो हमलों का जिक्र करते हुए. पुतिन ने कहा, “किसी व्यक्ति की असली पहचान संकट के समय में सामने आती है, और ट्रंप ने अपने कठिन समय में साहस दिखाया.” पुतिन ने अमेरिका के साथ संबंधों को फिर से सुधारने का संकेत दिया और कहा, "हम उस किसी भी राष्ट्रपति के साथ काम करेंगे जिसे अमेरिकी लोग चुनते हैं."
वेनिजुएला: एक नई शुरुआत की उम्मीद
वेनिजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो ने भी ट्रंप के दूसरे कार्यकाल को लेकर आशा व्यक्त की. मादुरो ने कहा कि ट्रंप के पहले कार्यकाल के दौरान वेनिजुएला को कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ा था, लेकिन अब वे एक नई शुरुआत की उम्मीद कर रहे हैं. मादुरो ने ट्रंप को उनके जीवन पर हुए हमलों के बाद स्वास्थ्य और लंबी उम्र की कामनाएं दीं और दोनों देशों के बीच नए अवसरों की बात की.
अर्जेंटीना: करीबी सहयोगी का उत्साह
अर्जेंटीना के नए राष्ट्रपति जावियर मिलेई, जो ट्रंप के कट्टर समर्थक हैं, ने 6 नवंबर को ट्रंप को हार्दिक शुभकामनाएं दीं. मिलेई ने कहा, “आप अर्जेंटीना को महान बनाने में मदद करेंगे, और हम जानते हैं कि हम भी अमेरिका को महान बनाने में आपकी मदद कर सकते हैं.” मिली की योजना है कि वह ट्रंप से व्यक्तिगत रूप से मिलने के लिए मार-ए-लागो (फ्लोरिडा) जाएं.
हंगरी: एक पॉपुलिस्ट सहयोगी की खुशी
हंगरी के प्रधानमंत्री विक्टर ओर्बान, जो लंबे समय से ट्रंप के समर्थक रहे हैं, ने भी अपनी खुशी का इजहार किया. ओर्बान ने 7 नवंबर को ब्रसेल्स में यूरोपीय शिखर सम्मेलन के दौरान ट्रंप की जीत का जश्न मनाया. ओर्बान का मानना है कि ट्रंप की वापसी हंगरी और यूरोपीय संघ के बीच एक नई राजनीति का रास्ता खोलेगी, खासकर यूक्रेन युद्ध पर ट्रंप का अलग रुख यूरोपीय नेताओं से मेल नहीं खाता.
यूरोप: एक महाद्वीप चुपचाप तैयार हो रहा है
जहां ओर्बान खुशी मना रहे हैं, वहीं यूरोप में बहुत से नेता ट्रंप के दूसरे कार्यकाल के लिए तैयार हैं, लेकिन वे चिंतित भी हैं. फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने 7 नवंबर को कहा कि यूरोपीय संघ की प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना है कि यूरोप अपनी सुरक्षा और हितों की रक्षा करने के लिए तैयार रहे, खासकर यूक्रेन युद्ध के संदर्भ में. ट्रंप के यूक्रेन के लिए भविष्य की नीति को लेकर यूरोपीय देशों में संदेह है, क्योंकि उन्होंने यूक्रेन के प्रति अमेरिकी समर्थन को सीमित करने की बात की है.
दुनिया इंतजार कर रही है: क्या होगा अगला कदम?
जैसे-जैसे ट्रंप की वापसी की संभावना साकार हो रही है, दुनिया भर के नेता अपने-अपने तरीके से प्रतिक्रिया दे रहे हैं. रूस और वेनिजुएला जैसे पुराने विरोधी देशों ने ट्रंप के साथ नए रिश्ते बनाने की उम्मीद जताई है, वहीं यूरोप के पारंपरिक अमेरिकी सहयोगी यह सोच रहे हैं कि अगर अमेरिका ने आइसोलेशन की नीति अपनाई तो उन्हें अकेले ही रूस जैसे देशों का सामना करना पड़ेगा.
ट्रंप की वापसी के बाद यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या दुनिया फिर से मजबूत गठबंधनों का निर्माण करती है या क्या एक नया वैश्विक संकट उत्पन्न होता है. यही कारण है कि पूरी दुनिया की नजरें ट्रंप की वापसी पर टिकी हुई हैं.