Defamation Case Against MS Dhoni: पूर्व बिजनेस पार्टनर ने एमएस धोनी के खिलाफ हाई कोर्ट में दर्ज किया मानहानि का मुकदमा, जानें क्या है पूरा माजरा

टीम इंडिया के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय में धोनी के पूर्व बिजनेस पार्टनर मिहिर दिवाकर और दिवाकर की पत्नी सौम्या दास ने मानहानि का मुकदमा दर्ज किया गया है.

धोनी (Photo Credit: Wikimedia Commons/Fb)

Defamation Case Against MS Dhoni: टीम इंडिया के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय में धोनी के पूर्व बिजनेस पार्टनर मिहिर दिवाकर और दिवाकर की पत्नी सौम्या दास ने मानहानि का मुकदमा दर्ज किया गया है. कपल  ने 2017 के कॉन्ट्रैक्ट के कथित उल्लंघन के संबंध में धोनी और उनकी ओर से काम करने वाले लोगों को उनके खिलाफ मानहानिकारक आरोप लगाने से रोकने के लिए निर्देश देने की मांग की है. यह कॉन्ट्रैक्ट धोनी और दिवाकर की स्वामित्व वाली कंपनी अरका स्पोर्ट्स मैनेजमेंट के बीच हुआ था. यह अनुबंध भारत और विश्व स्तर पर क्रिकेट अकादमियों की स्थापना के लिए था. मामला 18 जनवरी को न्यायमूर्ति प्रतिभा एम सिंह के समक्ष सुनवाई के लिए सूचीबद्ध है. यह भी पढ़ें: महिला क्रिकेटर हरलीन देओल ने रांची में एमएस धोनी से की मुलाकात, इंस्टाग्राम पर शेयर की तस्वीरें

मुकदमे में आरोप लगाया गया है कि धोनी और उनकी ओर से काम करने वाले लोगों ने दिवाकर और दास के खिलाफ मानहानिकारक आरोप लगाए कि उन्होंने क्रिकेट अकादमियों की स्थापना के अनुबंध का सम्मान न करके धोनी से लगभग ₹15 करोड़ की धोखाधड़ी की है. 2000 में अंडर-19 विश्व कप में भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले पूर्व क्रिकेटर दिवाकर ने कहा है कि इससे पहले कि कोई अदालत इस मुद्दे पर कोई ठोस निष्कर्ष दे पाती, धोनी के वकील दयानंद शर्मा ने 6 जनवरी, 2024 को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर दिवाकर और दास के खिलाफ आरोप लगाए थे.

दिवाकर और दास ने तर्क दिया है कि इन आरोपों को मीडिया में व्यापक रूप से दिखाया गया जिससे उनकी छवि खराब हुई है. इसलिए, उन्होंने धोनी और उनकी ओर से काम करने वाले लोगों को उनके खिलाफ कोई भी मानहानिकारक आरोप लगाने से रोकने के लिए निर्देश देने की मांग की है. मुकदमे में एक्स के साथ-साथ गूगल, यूट्यूब, फेसबुक और कई समाचार प्लेटफार्मों को दिवाकर और दास के खिलाफ कथित मानहानिकारक पोस्ट को हटाने के लिए निर्देश देने की भी मांग की गई है. यह मुकदमा वकील ऋषि अवस्थी और स्मर्हर सिंह के माध्यम से दायर किया गया है. धोनी ने आरोप लगाया कि उनके प्राधिकरण पत्र को रद्द करने के बाद भी, दिवाकर और दास ने अनुबंध में उल्लिखित नामों के तहत कई क्रिकेट अकादमियां खोलीं.

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