World Heart Day 2020: दिल है अनमोल, रखें इसका ख्याल

हृदय शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग है, इसकी सलामती बहुत जरूरी है। लेकिन आजके दौर में भागती-दौड़ती जिंदगी में लोगों को अपने स्वास्थ्य की ओर ध्यान देने का मौका नहीं मिलता, जिसका उन्हें भारी ख़ामियाज़ा चुकाना पड़ता है.अव्यवस्थित जीवन शैली और असंतुलित खानपान के चलते दुनिया भर में हृदय रोग के पीड़ितों की संख्या तेजी से बढ़ी है.

प्रतीकात्मक तस्वीर Photo Credits: Pixabay)

World Heart Day 2020: हृदय शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग है, इसकी सलामती बहुत जरूरी है। लेकिन आजके दौर में भागती-दौड़ती जिंदगी में लोगों को अपने स्वास्थ्य की ओर ध्यान देने का मौका नहीं मिलता, जिसका उन्हें भारी ख़ामियाज़ा चुकाना पड़ता है.अव्यवस्थित जीवन शैली और असंतुलित खानपान के चलते दुनिया भर में हृदय रोग के पीड़ितों की संख्या तेजी से बढ़ी है. लोगों में हृदय से संबंधित बीमारी से बचने और उसकी देखभाल के लिये 29 सितंबर को विश्व हृदय दिवस के रूप में मनाया जाता है.  इन दिनों कारोना वायरस भी कई बार मरीज के हृदय को भी प्रभावित कर रहे हैं. ऐसे में जरूरी है कि व्यक्ति समय पर संकेतों को पहचाने, जिससे उन्हें वक्त पर इलाज मिल सके.

विश्व में दिल संबंधी बीमारी के बढ़ रहे मरीज

‘विश्व हृदय दिवस’ कार्डियोवस्कुलर रोगों (CVD) के बारे में लोगों को जागरूक करने के लिये मनाया जाता है। कार्डियोवस्कुलर रोग हृदय और रक्त वाहिकाओं को प्रभावित करने वाले विकारों का समूह है। ये फेफड़ों, मस्तिष्क, किडनी/गुर्दे और शरीर के अन्य हिस्सों में रक्त की आपूर्ति करते है.  इन दिनों, हृदय रोग (सीवीडी) विश्व में मृत्यु और विकलांगता के प्रमुख कारणों में से एक है. यह भी पढ़े: Happy Rose Day 2020 Greetings in English: रोज दे पर WhatsApp Messages, Wishes, Images और Stickers भेजकर अपने प्रियजनों को दें शुभकामनाएं

सीवीडी से प्रतिवर्ष 17.9 लाख लोगों की मृत्यु होती है, जो सभी वैश्विक मृत्यु का 31% है. दुनियाभर में होने वाली हर तीन में एक मौत दिल संबंधी रोगों (सीवीडी) की वजह से होती है. इनमें से एक तिहाई मौतें समय से पहले (70 साल से कम) होती हैं। इसमें 75 प्रतिशत मामले निम्न और मध्यम आय वाले देशों से आते हैं। वहीं वर्ष 2030 तक सीवीडी से 23 मिलियन से अधिक मृत्यु होने का अंदेशा जताया गया है। डब्ल्यूएचओ का लक्ष्य वर्ष 2025 तक गैर-संक्रमणीय रोगों (एनसीडी) से समयपूर्व होने वाली मृत्यु को पच्चीस प्रतिशत तक कम करना है, जिसमें सीवीडी का हिस्सा सबसे अधिक हैं.

वहीं भारत में सितंबर 2018 में, द लांसेट ने भारत में हृदय रोगों के बारे में एक रिपोर्ट प्रकाशित की. जिसमें ग्लोबल बर्डन ऑफ डिजीज स्टडी 1990-2016 के स्टडी पर आधारित थी. रिपोर्ट में 1990 में 15.2 प्रतिशत की तुलना में 2016 में सीवीडी ने कुल मौतों का 28.1 प्रतिशत रहा.

हृदय गति के चेतावनी संकेतों को जानें-

> छाती के केंद्र में हल्का दर्द या बेचैनी, जो कि कुछ मिनटों से अधिक समय तक हो सकता है

> एक या दोनों बांहों, निचले जबड़े, गर्दन, या पेट में दर्द या बेचैनी

> सांस लेने में तकलीफ़

> ठंडा पसीना, मतली, हल्का सिरदर्द

प्राथमिक उपचार

> पीड़ित को बैठाएं या उस स्थिति में बैठाएं, जो कि उसके लिए सबसे ज़्यादा आरामदायक है

> उसके कपड़ों को ढीला करें

> यदि व्यक्ति सीने में दर्द की कोई दवा ले रहा है, तो उससे उसके बारे में पूछें, जैसे कि ज्ञात हृदय की स्थिति के लिए नाइट्रोग्लिसरीन दवा तथा इसे लेने में उसकी मदद करें

> यदि नाइट्रोग्लिसरीन लेने के तीन मिनट के भीतर दर्द तुरंत नहीं जाता है, तो आपातकालीन चिकित्सीय सहायता के लिए कॉल करें

दिल संबंधी बीमारियों से बचने के लिये खुद का रखें ख्याल

> स्वस्थ आहार खाएं, नियमित आहार में वसा, चीनी और नमक के सीमित सेवन के साथ-साथ फलों, >सब्जियों, अनाज से निर्मित उत्पादों, वसा रहित मांस और मछली को अधिक से अधिक मात्रा में शामिल करें

> धूम्रपान न करें और धूम्रपान करने वाले लोगों के नज़दीक न जाएं

> नियमित व्यायाम करें, हृदय गति और सांस लेने में तेजी लाने के लिए प्रतिदिन तीस मिनट तक घूमने की सलाह दी जाती है

> रक्तचाप, जैसे कि उच्च रक्तचाप (उच्च रक्तचाप) मायोकार्डियम इंफार्क्शन का कारण हो सकता है

> शुगर का स्तर विशेषकर, यदि डायबिटीज़ से पीड़ित हैं तो इस कंट्रोल में रखें

> उच्च कोलेस्ट्रॉल क्योंकि रक्त कोलेस्ट्रॉल से मायोकार्डियल इंफार्क्शन का खतरा बढ़ जाता है।

> ध्यान से दवा लें चिकित्सक द्वारा प्रस्तावित दवाओं का नियमित सेवन करें।

> अपनी प्रगति पर नज़र (ट्रैक) रखें, अपने स्वास्थ्य और अपने परिवार के स्वास्थ्य के लिए आप जो भी करते हैं, उस पर गर्व महसूस करें.

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