BSP सांसद अतुल राय को सुप्रीम कोर्ट से झटका, अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई से इनकार
सुप्रीम कोर्ट (Photo Credits: PTI)

नयी दिल्ली. बहुजन समाज पार्टी के नवनिर्वाचित सांसद अतुल राय को सोमवार को उस समय झटका लगा जब बलात्कार के एक मामले में उच्चतम न्यायालय ने उन्हें गिरफ्तारी से किसी प्रकार का संरक्षण प्रदान करने से इंकार कर दिया। प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायमूर्ति अनिरूद्ध बोस की अवकाश पीठ ने अतुल राय की याचिका पर विचार करने से इंकार करते हुये कहा कि उनके खिलाफ पहले से ही 16 अन्य आपराधिक मामले दर्ज हैं। अतुल राय हाल ही में उप्र के घोसी निर्वाचन क्षेत्र से सांसद निर्वाचित हुये हैं। इस मामले की सुनवाई शुरू होते ही पीठ ने राय के वकील से जानना चाहा कि उनके खिलाफ कितने मामले लंबित हैं।

राय के वकील ने जवाब दिया कि उनके खिलाफ 16 आपराधिक मामले लंबित थे और वह बलात्कार के मामले के अलावा सभी मामलों में जमानत पर हैं। उन्होंने कहा कि सांसद ने बलात्कार के मामले में उनके खिलाफ दर्ज प्राथमिकी भी रद्द करने का अनुरोध किया है।

पीठ ने कहा, ‘‘हम इस याचिका पर विचार नहीं करना चाहते। इसे खारिज किया जाता है।’’

इस पर राय के वकील ने याचिका वापस लेने का अनुरोध किया तो पीठ ने उन्हें इसकी अनुमति दे दी।

पीठ ने कहा, ‘‘याचिकाकर्ता के वकील न्यायालय में पेश याचिका वापस लेना चाहते हैं।’’ पीठ ने याचिका वापस लेने की अनुमति देते हुये उसे खारिज कर दिया।

इससे पहले, 17 मई को शीर्ष अदालत ने अतुल राय को अंतरिम संरक्षण प्रदान करने से इंकार कर दिया था। राय पर वाराणसी की एक कालेज छात्रा ने बलात्कार का आरोप लगाया है और प्राथमिकी दर्ज होने के बाद से ही वह फरार हैं।

राय के खिलाफ कालेज की छात्रा की शिकायत पर एक मई को प्राथमिकी दर्ज की गयी थी। इस छात्रा ने आरोप लगाया है कि राय उसे अपनी पत्नी से मिलाने के नाम पर अपने घर ले गये जहां उसका यौन उत्पीड़न किया गया। राय ने बलात्कार के आरोप से इंकार किया है।

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