CAA/NRC के विरोध प्रदर्शन में मारे गए लोगों के लिए मायावती की मांग- निर्दोष परिजनों की सरकार करे मदद
मायावती (Photo Credits: PTI)

लखनऊ: नागरिकता संशोधन कानून (CAA) और एनआरसी (NRC) को लेकर अभी भी पूरे देश में विरोध प्रदर्शन हो रहा है. लेकिन इस कानून को लेकर सबसे ज्यादा प्रदर्शन पिछले एक हफ्ते से उत्तर प्रदेश में हो रहा है. लोगों के इस प्रदर्शन में अब तक सबसे ज्यादा किसी राज्य में लोगों की जाने गई हैं तो वह है उत्तर प्रदेश. इस राज्य में अब तक करीब 17 से ज्यादा लोगों की जाने जा चुकी हैं. वहीं अभी भी बड़े पैमाने पर लोगों का प्रदेश के अलग- अलग अस्पतालों में इलाज चल रहा है. प्रदर्शन में मारे गए लोगों को लेकर बीएसपी प्रमुख मायावती का एक बयान आया है. उन्होंने योगी सरकार से इस पूरे मामले की जांच करवाने के साथ ही हिंसा में मारे गए निर्दोष लोगों की मदद करने की मांग की है.

मायावती ने इस हिंसा में मारे गए लोगों को लेकर एक ट्वीट किया है. लिखा है कि नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी विरोधी हिंसा में सबसे ज्यादा उत्तर प्रदेश में लोग मारे गए हैं. इसलिए इस मामले में जांच पड़ताल कर निर्दोष लोगों की मदद के लिए सरकार आगे आए तो यह बेहतर होगा. मायावती की तरफ से कुछ और ट्वीट किये गए हैं. जिसमें हिंसा प्रदर्शन में परिजनों का पार्टी के नेताओं द्वारा मदद करने, मुस्लिम समाज के लोगों को सावधान रहने, इस कानून को लेकर मुस्लिम समाज के अन्दर जो आशंकाएं पैदा हुई है सरकार द्वारा दूर करने की बात कही गई है. यह भी पढ़े: बीएसपी अध्यक्ष मायावती ने केंद्र सरकार से CAA वापस लेने का किया आग्रह, कहा- नए कानून के कारण NDA नेताओं में मतभेद

कर्नाटक से खबर है नागरिकता संशोधन कानून विरोध प्रदर्शन के दौरा दो लोगों की जान गई थी. सरकार की तरफ से उनके परिवार को मुआवजा देने की घोषणा की गई थी. लेकिन बुधवार को सीएम बीएस येदियुरप्पा ने कहा कि मेंगलुरु हिंसा की सीआईडी जांच पहले करवाई जाएंगी.  इसके बाद ही उनके परिजन को मुआवजा देने के बारे में फैसला लिया जाएगा.

बता दें कि सिएए और एनआरसी कानून को लेकर पूरे देश में विरोध प्रदर्शन हो रहा है. लोग सड़कों पर उतर पर प्रदर्शन कर रहे हैं. हालांकि सरकार लोगों को समझाने के साथ ही समर्थन में रैली भी निकाल रही है कि इस कानून से लोगों की नागरिकता पर कोई असर नहीं पड़ेगा. इसलिए लोग किसी के बहकावे में ना आये. इसके बाद भी देश में प्रदर्शन हो रहा है.