क्या है ऑपरेशन शिवशक्ति? आतंकियों की सटीक लोकेशन निकालकर चुन-चुनकर सेना कर रही दहशतगर्दों का खेल खत्म

जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में नियंत्रण रेखा (LoC) के पास बुधवार सुबह भारतीय सेना और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई. इस मुठभेड़ को भारतीय सेना ने "ऑपरेशन शिवशक्ति" नाम दिया.

Representational Image | PTI

श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में नियंत्रण रेखा (LoC) के पास बुधवार सुबह भारतीय सेना और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई. इस मुठभेड़ को भारतीय सेना ने "ऑपरेशन शिवशक्ति" नाम दिया. इस ऑपरेशन (Operation Shivshakti) में दो संदिग्ध लश्कर-ए-तैयबा आतंकियों को ढेर कर दिया गया. सेना के मुताबिक, ये आतंकी पाकिस्तान की ओर से भारत में घुसपैठ की कोशिश कर रहे थे.

सेना की व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने जानकारी दी कि आतंकियों की हरकत का अंदेशा पहले ही लग चुका था. पुंछ के डिगवार सेक्टर के मलदीवालन इलाके में तैनात सैनिकों ने मंगलवार देर रात कुछ हलचल देखी. इसके बाद सतर्क सैनिकों ने फायरिंग का जवाब दिया और कई घंटे चले ऑपरेशन में दो आतंकियों को मार गिराया. मौके से तीन हथियार भी बरामद किए गए हैं.

ऑपरेशन महादेव के बाद अब शिवशक्ति

यह ऑपरेशन "शिवशक्ति", सेना द्वारा पहले किए गए "ऑपरेशन महादेव" (Operation Mahadev) के बाद हुआ है. ऑपरेशन महादेव में सेना ने पहलगाम हमले में शामिल तीन आतंकियों को मार गिराया था. यह कार्रवाई भी जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद के खिलाफ चल रहे बड़े अभियानों का हिस्सा है. सेना अब आतंकियों की सटीक लोकेशन ट्रैक कर उन्हें ढेर कर रही है.

पहलगाम हमले का बदला

22 अप्रैल 2025 को पहलगाम के बैसरन घाटी में आतंकियों ने पर्यटकों पर हमला किया था. इस हमले में 25 भारतीय और एक नेपाली नागरिक की मौत हो गई थी. इसे पुलवामा 2019 के बाद सबसे घातक आतंकी हमला माना गया. इसके बाद भारत सरकार ने आतंक के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया.

भारतीय सेना ने ‘महादेव ऑपरेशन’ में हाशिम मूसा को मार गिराया है. पाकिस्तान का रहने वाला हाशिम मूसा लश्कर-ए-तैयबा का टॉप कमांडर था. 22 अप्रैल को हुए पहलगाम हमले को वह लीड कर रहा था.

पहलगाम हमले के जवाब में भारत ने "ऑपरेशन सिंदूर" के तहत पाकिस्तान और पाकिस्तान-अधिकृत कश्मीर में स्थित आतंकी ठिकानों पर सैन्य हमले किए थे. इन कार्रवाइयों ने आतंकवादियों के हौसले पस्त कर दिए हैं.

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