Online Trading Scam : लोगों को ऑनलाइन धोखाधड़ी से बचाने के लिए साइबर क्राइम पुलिस ने ' ऑनलाइन ट्रेडिंग स्कैम ' के लिए सुचना जारी की 

Online Trading Scam :ऑनलाइन ठगी को लेकर साइबर क्राइम पुलिस ने सुचना जारी की है. पुलिस ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि '' ऑनलाइन तरीक़े से फ्रॉड करनेवाले लोगों की ओर से सबसे पहले पीड़ित को  सिक्योरिटीज़ एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया  (SEBI ) से  रजिस्टर्ड नहीं, ऐसे ट्रेडिंग ऍप्लिकेशन्स को इनस्टॉल करने के लिए कहा जाता है और ज्यादा पैसे कमाने का लालच देकर उन्हें स्टॉक में इन्वेस्ट करने का झांसा देकर पैसों कि धोखाधड़ी कि जाती हैं.

Credit ( Pixabay)

साइबर क्राइम पुलिस ने ' ऑनलाइन ट्रेडिंग स्कैम ' के नाम से एक नए  के तरीके के फ्रॉड के लिए एक सार्वजनिक सुचना जारी की है. ये फ्रॉड इसी साल सामने आया है. इस ऑनलाइन क्राइम में पीड़ितो को सोशल मीडिया और  व्हाट्सएप  पर फ्री ट्रेडिंग  ऐप्स  के टिप्स और क्लासेस का झांसा दिया जाता है.  जैसे ही वो भेजें गए विज्ञापन पर क्लिक करते हैं , वो सीधे एक अननोन  व्हाट्सएप  ग्रुप में शामिल हो जाते हैं.  इसके बाद इस फ्रॉड में शामिल लोग पीड़ितों से इस ग्रुप के माध्यम से संपर्क करते है और उन्हें फ्री ट्रेडिंग टिप्स की जानकारी देकर उन्हें स्टॉक में पैसा लगाने को कहते है.

इसके कुछ दिनों बाद स्कैम में शामिल लोग पीड़ित को भेजे गए ट्रेडिंग ऍप्लिकेशन्स को इंस्टॉल करने के लिए और इससे बड़ा प्रॉफिट कमाने का झांसा देते है.
पुलिस के एक बड़े अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि '' पीड़ितों को  INSECG, CHS-SES, SAAI, SEQUOIA, और GOOMI  जैसे ऍप्लिकेशन्स  इंस्टॉल करने लगाए जाते है , जो कि सिक्योरिटीज एवं एक्सचेंज बोर्ड ऑफ़ इंडिया (SEBI ) में रजिस्टर्ड ही नहीं है. इसके बाद पीड़ित इन लोगों के द्वारा बताएं गए  ऐप्स  पर रजिस्ट्रेशन करते है और ट्रेडिंग शुरू करते हैं. इन लोगों की तरफ से पीड़ितों को शेयर खरीदने के लिए बैंकों में पैसे जमा करने के लिए कहा जाता है और डिजिटल वॉलेट में फेक प्रॉफ़िट्स भी दिखाए जाते है.

इसके बाद जिन लोगों को डिजिटल वॉलेट में फेक प्रॉफ़िट्स दिखाए जाते है , वो लोग जब अपना प्रॉफिट  विड्रॉल करने की कोशिश करते है , तो उन्हें बताया जाता है कि ये पैसा वो तभी  विड्रॉल  कर सकते है , जब प्रॉफिट 50 लाख रुपए या फिर उससे ज्यादा का हो. इसे कंपनी की पॉलिसी समझकर पीड़ित भी इन फ्रॉड ट्रेडिंग ऐप्स में लगातार इन्वेस्टमेंट करता रहता है.

इसके बाद जिन पीड़ित लोगों ने इसमें पैसा लगाया हैं, उनसे प्रॉफिट का पैसा  विड्रॉल  करने के लिए पैसे जमा करने के लिए कहा जाता है, इसके बाद अगर पीड़ित पैसे जमा करने से इंकार करता है , तो स्कैम से जुड़े लोगों की ओर से पीड़ित से सभी संपर्क समाप्त किये जाते है और उन्हें ब्लॉक कर दिया जाता है, ब्लॉक करने के बाद जिन लोगों ने इसमें पैसा लगाया है, उन्हें पता चलता है कि उनके साथ धोखाधड़ी हुई है.
' किसी भी तरह की संदिग्ध लिंक से बचने का पुलिस का आह्वान '
 चेन्नई शहर के पुलिस आयुक्त संदीप राय राठौड़ ने जनता को सावधान और जागरूक रहने की सलाह दी हैं. उन्होंने अनजान फोन नंबर से आयी संदिग्ध  लिंक्स ,व्हाट्सएप कॉल और मैसेजेस से बचने की सलाह दी हैं. इसके साथ ही साइबर से संबंधित क्राइम के मामले में लोगों को नेशनल साइबर क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल  (www.cybercrime.gov.in) पर शिकायत करने और साइबर क्राइम हेल्पलाइन 1930 पर कॉल करने की सलाह दी हैं.

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